Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    खुशखबरी.... ग्रामीण गर्भवती महिलाओं का अब तहसील में हो सकेगा ऑपरेशन, खोली FRU यूनिट

    Updated: Sat, 13 Sep 2025 03:21 PM (IST)

    उरई में ग्रामीण क्षेत्र की गर्भवती महिलाओं को अब प्रसव के लिए जिला मुख्यालय नहीं आना होगा। कोंच कालपी जालौन और माधौगढ़ में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर प्रथम संदर्भन इकाई (एफआरयू) खोली गई हैं जहाँ स्त्री रोग विशेषज्ञ और अन्य स्टाफ तैनात किए गए हैं। इससे जटिल मामलों में सिजेरियन ऑपरेशन की सुविधा मिलेगी और महिलाओं को तत्काल इलाज मिल सकेगा। यह सुरक्षित प्रसव सुनिश्चित करेगा।

    Hero Image
    ग्रामीण गर्भवती महिलाओं के अब तहसील स्तर पर ही हो सकेंगे आपरेशन। जागरण

    जागरण संवाददाता, उरई । ग्रामीण क्षेत्र की उन गर्भवती महिलाओं को अब जिला मुख्यालय पर नहीं आना पड़ेगा जिनके प्रसव में आपरेशन की आवश्यकता होगी। इसके लिए चार तहसीलों के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर प्रथम संदर्भन इकाई (एफआरयू) खोली दी गई है। इसके साथ ही चिकित्सक, कर्मचारियों की तैनाती भी कर दी गई है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    जिले में पीएचसी और सीएचसी पर गर्भवती महिलाओं के प्रसव कराए जाते हैं। हालांकि जटिल मामलों में सिजेरियन आपरेशन की व्यवस्था न होने की वजह से इन महिलाओं को जिला महिला अस्पताल या राजकीय मेडिकल कालेज के रेफर किया जाता था। इतनी दूर आने में काफी समय भी लगता था जिससे गर्भवतियों की हालत और बिगड़ जाती थी।

    सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर एफआरयू खोला

    यही वजह रही कि अब कोंच, कालपी, जालौन और माधौगढ़ तहसील के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर एफआरयू खोला गया है। इसके तहत अब इन सीएचसी पर स्त्री रोग विशेषज्ञ, निश्चेतक, बाल रोग विशेषज्ञ समेत अन्य स्टाफ की तैनाती के साथ ही आपरेशन की सुविधा भी उपलब्ध कराई गई है। प्रथम संदर्भन इकाई के खुलने से इन सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों के अंतर्गत आने वाले कई गांवों की गर्भवती महिलाओं को अब किसी दिक्कत के होने पर जिला मुख्यालय नहीं आना पड़ेगा।

    समय पर उनको तुरंत इलाज मिल सकेगा। जिससे इन महिलाओं के साथ ही उनके स्वजनों को भी परेशान नहीं होना पड़ेगा। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के जिला कार्यक्रम प्रबंधक डा. प्रेमप्रताप ने कहा कि प्रथम संदर्भन इकाई के खुलने से गर्भवती महिलाओं को काफी लाभ पहुंचेगा। तहसील स्तर पर ही उनको सुविधा मिलने से उन्हें परेशान नहीं होना पड़ेगा। इससे सुरक्षित प्रसव मुमकिन होगा।

    क्या कहते जिम्मेदार

    ग्रामीण गर्भवती महिलाओं को प्रसव के दौरान सिजेरियन आपरेशन की आवश्यकता पड़ने पर उनको परेशान होना पड़ता था, लेकिन एफआरयू की वजह से अब उनको उनके घर के पास ही समय पर इलाज मुमकिन हो सकेगा। जिले में स्वास्थ्य सुविधाओं का लगातार विस्तार किया जा रहा है। इसी क्रम में यह एफआरयू यूनिट गर्भवती महिलाओं के लिए तत्काल इलाज उपलब्ध कराएगी।

    डा. एनडी शर्मा, सीएमओ