कटे हुए फलों से करें परहेज
उरई, जागरण संवाददाता : गर्मियों में खानपान में जरा सी गड़बड़ी बीमारी की वजह बन सकती है। चिकित्सक संक्र
उरई, जागरण संवाददाता : गर्मियों में खानपान में जरा सी गड़बड़ी बीमारी की वजह बन सकती है। चिकित्सक संक्रामक रोगों से बचने के लिए कटे हुए फल खरीदकर खाने से परहेज की सलाह दे रहे हैं। खाद्य सुरक्षा विभाग ने अभी तक इस दिशा में ध्यान नहीं दिया है। गर्मियों में मुख्य रूप से फूड प्वॉयज¨नग के मामले सबसे ज्यादा होते हैं। लोगों को इस दिशा में खुद भी सचेत होने की जरूरत है।
तापमान 40 डिग्री सेल्सियस के ऊपर होने पर हीट स्ट्रोक की संभावना बनने लगी है। शरीर में पानी की कमी को पूरा करने के लिए कई बार लोग पपीता, तरबूज आदि खरीदकर खाते हैं। परंतु यही फल यदि कटे हुए हुए तो उन्हें खाने से स्वास्थ्य को लाभ होने के बजाए बीमार होने की संभावना ज्यादा बन जाती है। जरूरत है कि लोग खानपान में इस तरह की चूक न करें। हीट-स्ट्रोक में शरीर का तापमान 40 डिग्री सेल्सियस तक बढ़ जाता है, जो कि अंदरुनी अंगों की कार्यप्रणाली को नष्ट कर सकता है। हीट-स्ट्रोक से बचने के लिए अत्यधिक मात्रा में पानी और जूस पीएं, ताकि शरीर में पानी की कमी न हो।
क्या कहते हैं लोग
फूड प्वॉयज¨नग गर्मियों में आम तौर पर हो जाती है। गर्मियों में अगर खाना साफ-सुथरे माहौल में न बनाया जाए तो उ
सके दूषित होने का खतरा बढ़ जाता है। इसके साथ ही पीने का पानी भी दूषित हो सकता है। लोगों को खानपान में सफाई पर ध्यान देना चाहिए।
श्रवण कुमार द्विवेदी
अत्यधिक तापमान की वजह से खाने में बैक्टीरिया बहुत तेजी से पनपते हैं, जिससे फूड पॉयज¨नग हो जाती है। सड़क किनारे बिकने वाले खाने-पीने के सामान भी फूड पॉयज¨नग के कारण बन सकते हैं। इसलिये ऐसे फल नहीं लेने चाहिए।
महेंद्र भाटिया
फूड पॉयज¨नग से बचने के लिए बाहर जाते वक्त हमेशा अपना पीने का पानी घर से ले के चलें। बाहर खुले में बिक रहे कटे हुए फल खाने से परहेज करें। पिएं।
राजेश पांडेय
हमेशा घर में बना हुआ नींबू पानी और ओआरएस का घोल आस-पास ही रखें। एल्कोहल और कैफीन युक्त पेय पदार्थों का परहेज करें, इनके सेवन से भी शरीर में पानी की कमी होती है।
अर¨वद निरंजन
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