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    पौधरोपण को सही प्रजाति के चुनें पौधे

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    Updated: Sat, 09 Jul 2016 07:23 PM (IST)

    हरदोई : पौधरोपण के लिए अच्छा समय चल रहा है। ऐसे में किसानों को पौधरोपण से पहले अपने खेत की मृदा का प

    हरदोई : पौधरोपण के लिए अच्छा समय चल रहा है। ऐसे में किसानों को पौधरोपण से पहले अपने खेत की मृदा का परीक्षण अवश्य करा लेना चाहिए। रोपित करने से पहले पौधों की अच्छी प्रजाति का भी चयन किया जाना मायने रखता है। यह बात सामाजिक वानिकी वन एवं वन्य जंतु प्रभाग के प्रभागीय निदेशक वन संरक्षक वीके ¨सह ने शनिवार को जागरण प्रश्न प्रहर में पाठकों के सवालों का जवाब देते हुए कही। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य, शिक्षा और पर्यावरण सोशल सेक्टर से जुड़े हुए हैं, इनके लिए केवल सरकारी तंत्र, विभाग के बूते से ही कार्य संभव नहीं हो सकता। इसके लिए समाज के लोगों को जागरूक होना होगा। पौधरोपण से ही पर्यावरण संरक्षण संभव नहीं है, इसके लिए जरूरी है कि रोपित किए गए पौधों की देखभाल की जाए और वृक्ष बनने दिया जाए। आसपास के क्षेत्रों में होने वाले वृक्ष कटान को रोकने के लिए भी जन सहयोग जरूरी है। कहा कि पेड़ कटान की जानकारी कोई भी व्यक्ति उनके मोबाइल पर सीधे दे सकता है। पेड़-पौधों का पर्यावरण संरक्षण के साथ ही प्रकृति, घरों के आसपास सुंदर वातावरण और फल-फूल की उपलब्धता में बड़ा योगदान रहता है। पेश हैं पूछे गए सवाल और उनके जवाब।

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    * खेत में पौधरोपण कराना चाहता हूं, क्या-क्या तैयारी की जाए।

    -संजीव कुमार, सवायजपुर

    --पौधरोपण से पहले खेत की मृदा का परीक्षण जरूरी है। मृदा परीक्षण की रिपोर्ट के अनुसार खनिज लवण की उपलब्धता सुनिश्चित कराई जानी होती है। फलदार पौध का चयन और अच्छी प्रजाति के पौधों का रोपण करने से अधिक लाभ होगा।

    * फूलदार पौधे लगाने हैं, वन विभाग की नर्सरी में कौन-कौन सी प्रजाति के पौधे उपलब्ध हैं।

    - कोमल रस्तोगी, आवास विकास

    --आप गुड़हल, रात की रानी, बोगेनवेलिया, कचनार, चंपा, छितवन, गुलाब तबोबिया आदि के पौधे लगा सकती हैं। वन विभाग की नर्सरी पर जो पौधे उपलब्ध होंगे वह आप को मिल जाएंगे।

    * वन विभाग की नर्सरी पर उपलब्ध पौध का मूल्य क्या होता और कहां से पता चलेगा। -अजय ¨सह, गौरी नगर

    --जिले में वन विभाग की 9 नर्सरियां हैं और इन पर पौधे उपलब्ध हैं। यहां पर आम जन मानस की ओर से रोपित किए जाने के लिए पौधों की बिक्री होती है। पौध की प्रजाति और ऊंचाई के अनुसार सरकारी मूल्य निर्धारित हैं और मूल्य सूची सभी नर्सरियों पर सार्वजनिक प्रदर्शित हैं।

    * वन विभाग की नर्सरी कहां-कहां पर हैं। - राम संजीवन, बावन

    -- जिले में वन विभाग की नौ नर्सरी हैं, ये कुर्रिया, अहिरोरी, रोशनपुर, कामीपुर, अयारी, सांडी, लोहकनपुर, करीमनगर और सोम में संचालित हैं। सभी नर्सरियों पर पौध की उपलब्धता भी इन दिनों है।

    * उसरीली भूमि है, किस प्रकार के और कौन से पौधों को रोपित कराना उचित रहेगा। -राम सरन, लोकईपुरवा

    -- ऊसर यानी लवणीय भूमि में पौधरोपण के लिए गड्ढा सही प्रकार से तैयार कराने चाहिए। ऐसी भूमि पर नीम, सीरस और महुआ को विशेष रूप से रोपित करना उचित रहता है।

    * नीम, आम आदि के पौध का रोपण करना चाहते हैं, पौध से पौध की कितनी दूरी रहनी चाहिए।

    - डीआर ¨सह, बेनीगंज

    --किसी पौध को रोपित करते समय से पेड़ बनने पर उसके क्षत्रप को ध्यान में रखना चाहिए। आम और नीम आदि क्षत्रप वाले पौधों को कम से 6 मीटर की दूरी पर रोपित किया जाना ठीक रहता है। इससे पौध के विकसित होने में आसानी रहती है।

    * जल भराव वाली भूमि है। ऐसी भूमि पर कौन-कौन से फलदार पौधे रोपित किए जा सकते हैं।

    - अर¨वद पांडेय, ककेड़ी

    --जल भराव वाली भूमि में फलदार और औषधीय पौध के तौर पर जामुन और अर्जुन को रोपित कराया जा सकता है। इन पौधों के तैयार होने में जल भराव से कोई समस्या नहीं आती है और यह जल्द ही फल भी देने लगते हैं।

    * पौधरोपण के लिए सही समय कब तक माना जाता है।

    - राजेश कुमार, लालपालपुर

    --पौधरोपण के लिए जुलाई से 30 सितंबर तक समय सही माना जाता है। इस अविध में आप गड्ढा आदि तैयार करा कर पौधों को रोपित करा लें तो ठीक रहेगा। इसके बाद पौधों में सर्दी के चलते बढ़त रूक जाती है।

    * यूकेलिप्टस के पौधरोपण क्या रोक लगी है। -राजाराम, पचकोहरा

    -- यूकेलिप्टस के पौधरोपण सरकारी तौर पर कोई रोक नहीं है, यह जल्द तैयार होने वाला पौधा है और कैश फारेस्ट के रूप में इसकी गिनती की जाती है। वैसे से यूकेलिप्टस जहां पर रोपित किया जाता है इसके आसपास की भूमि में नमी की मात्रा कम होने लगती है। दलदली भूमि में यूकेलिप्टस का पौधरोपण लाभदायी रहता है।

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    जागरण अभियान की करेंगे मदद

    वन संरक्षक वीके ¨सह को जब यह जानकारी दी गई कि दैनिक जागरण की ओर से भी एक करोड़ पौधरोपण का संकल्प लिया गया है। इतना सुनते ही वह बोले यह तो बहुत ही सराहनीय कदम है। कहा कि दैनिक जागरण के पौधरोपण में वह हर संभव मदद के लिए तैयार हैं।

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