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    डमी को रेत से भरकर लाश जैसा बनाया... दोस्त के साथ करने पहुंचे दाह-संस्कार, आरोपी ने कई राज खोले

    Updated: Fri, 28 Nov 2025 08:43 AM (IST)

    दिल्ली के दुकानदार कमल कुमार सोमानी ने कर्मचारी के बीमा पैसे हड़पने के लिए एक डमी शव का इस्तेमाल किया। उसने अंशुल की मौत की अफवाह फैलाई, डमी को रेत से भरकर लाश जैसा बनाया और दोस्त के साथ अंतिम संस्कार के लिए ब्रजघाट गया। पुजारियों ने श्मशान घाट पर डमी का पर्दाफाश किया। पुलिस ने अंशुल को वीडियो कॉल किया, जिससे पता चला कि वह प्रयागराज में सुरक्षित है और उसे इस साजिश की जानकारी नहीं है।

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    आरोपी को ले जाते पुलिस और कार में रखी एक अन्य डमी। जागरण

    जागरण संवाददाता, हापुड़। दिल्ली के दुकानदार कमल कुमार सोमानी अपने कर्मचारी के इंश्योरेंस के पैसे हड़पने की साजिश में पकड़े गए। उन्होंने पुलिस को बताया कि उन्होंने अंशुल की मौत की अफवाह फैलाई, अपनी दुकान के लिए खरीदी गई इंसानी साइज़ की डमी ली, उसमें वजन के हिसाब से रेत भरी और लाश जैसा दिखाने के लिए उसे सफेद कपड़े में लपेटकर अपनी कार में रख लिया।

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    उन्होंने अपने दोस्त आशीष खुराना से कहा कि उन्हें कर्मचारी के शव का अंतिम संस्कार करने के लिए ब्रजघाट जाना है। उन्होंने कार चलाने की पेशकश की और दोस्त को भी साथ ले गए। दोनों गुरुवार दोपहर अंतिम संस्कार के लिए पहुंचे। उनका प्लान था कि अंतिम संस्कार के बाद मिली पर्ची का इस्तेमाल करके डेथ सर्टिफिकेट बनवाकर 50 लाख रुपये क्लेम किए जाएंगे।

    डमी का राज तब खुला जब पुजारियों ने श्मशान घाट पर अंतिम स्नान और बदलने की रस्में शुरू कीं। गिरफ्तारी के बाद शक हुआ कि अंशुल सच में गायब हो गया है। इसलिए पुलिस ने कमल के फोन से अंशुल को वीडियो कॉल की। स्क्रीन पर अंशुल पूरी तरह से स्वस्थ दिखाई दिया।

    उसने बताया कि वह 15 दिन पहले छुट्टी लेकर प्रयागराज में अपने गांव लौटा था। उसे इस केस के बारे में कुछ नहीं पता। आरोपी के पास से मिले अंशुल के आधार कार्ड पर करोल बाग का पता लिखा है। जब जागरण टीम उस पते पर पहुंची, तो पुलिस मौजूद थी। पड़ोसियों ने बताया कि अंशुल कभी अपने परिवार के साथ वहीं रहता था, लेकिन पांच साल पहले उसने अपना घर बेच दिया और चला गया।