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    हापुड़ में करोड़ों की सड़क हाथ से उखड़ गई, गुस्साए ग्रामीणों ने काम रोका; PWD अफसरों के सामने उखाड़ी सड़क

    Updated: Tue, 25 Nov 2025 09:47 PM (IST)

    हापुड़ में घटिया सड़क निर्माण से नाराज़ ग्रामीणों ने काम रुकवा दिया और PWD अधिकारियों के सामने प्रदर्शन किया। ग्रामीणों का आरोप है कि ठेकेदार ने सड़क बनाने से पहले मिट्टी साफ नहीं की, जिससे सड़क उखड़ने लगी। उन्होंने गुणवत्ता ठीक न होने तक काम रोकने की चेतावनी दी है। अब ग्रामीण जिलाधिकारी से मिलेंगे।

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     ठेकेदार ने सड़क बनाने से पहले मिट्टी साफ नहीं की, जिससे सड़क उखड़ने लगी। जागरण

    जागरण संवाददाता, हापुड़। करोड़ों की लागत से बन रही सड़क की घटिया क्वालिटी से नाराज ग्रामीणों ने काम रुकवा दिया। गुस्साए ग्रामीणों ने दर्जनों जगह सड़क को उखाड़कर PWD अधिकारियों के सामने प्रदर्शन किया। ठेकेदार ने सड़क बनाने से पहले मिट्टी साफ नहीं की थी, जिससे सड़क बनते ही उखड़ने लगी। गुस्साए ग्रामीणों को शांत करने पहुंचे अधिकारियों को विरोध का सामना करना पड़ा, जिससे तीखी नोकझोंक हुई।

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    ग्रामीणों ने ऐलान किया है कि जब तक क्वालिटी ठीक नहीं हो जाती, वे सड़क नहीं बनने देंगे। ठेकेदार पर ग्रामीणों से शराब मांगने का आरोप भी महंगा पड़ा। इस मामले को लेकर ग्रामीणों ने पंचायत की है। अब बुधवार को ग्रामीणों का एक प्रतिनिधिमंडल जिलाधिकारी (DM) से मिलेगा। शासन ने हापुड़ से कनिया कल्याणपुर तक 11 किलोमीटर सड़क की मरम्मत को मंजूरी दे दी है। PWD यह मरम्मत का काम कर रहा है।

    ठेकेदार ने हापुड़ की तरफ आधी सड़क पूरी कर ली है। अब श्यामपुर के आसपास काम चल रहा है। सोमवार सुबह यहां तीन-चार किलोमीटर सड़क का निर्माण किया गया। मंगलवार दोपहर को एक हल्की गाड़ी गुज़री, जिससे सड़क टूट गई। गांव वालों ने देखा कि सड़क को हाथ से उखाड़ा जा रहा है। इसलिए, उन्होंने काम रोक दिया और अधिकारियों को बुलाने पर अड़े रहे।

    दोपहर में, PWD के SDO मुकुल नागपाल और JE अशोक कुमार पुलिस फोर्स के साथ मौके पर पहुंचे। गांव वालों ने अधिकारियों के सामने हाथ से उखाड़ी जा रही सड़क का प्रदर्शन किया। उन्होंने आरोप लगाया कि सड़क को खोदकर मिट्टी पर बनाया गया है, जिससे पकड़ खराब हो गई है।

    इस बीच, एक अधिकारी ने आरोप लगाया कि कई गांव वाले कॉन्ट्रैक्टर से शराब मांग रहे थे। इससे गांव वालों में गुस्सा भड़क गया, उन्होंने शराब मांगने वाले गांव वाले का नाम मांगा। उन्होंने कॉन्ट्रैक्टर पर गांव वालों को बदनाम करने का भी आरोप लगाया। अधिकारियों और गांव वालों के बीच तीखी बहस हुई। गांव वालों ने अधिकारियों को घेर लिया और हंगामा किया। उन्होंने ऐलान किया कि जब तक पत्थर और तारकोल का मिक्सचर स्टैंडर्ड के हिसाब से नहीं मिलाया जाता, वे सड़क का काम नहीं होने देंगे।

    गांव वाले बेवजह विरोध कर रहे हैं। कुछ गांव वाले अपने मतलब के लिए अच्छी बनी हुई सड़क को बनने से रोक रहे हैं। सड़क उखाड़ने का हक किसी को नहीं है। अगर उन्हें क्वालिटी पर शक है, तो वे शिकायत कर सकते हैं और जांच करवा सकते हैं। अगर सड़क उखाड़ी गई या काम रोका गया, तो हम रिपोर्ट दर्ज करेंगे। सड़क हर हाल में बनेगी। - मुकुल नागपाल - AE-PWD।

    पहले यह सड़क तीन लेयर में बनी थी। डिपार्टमेंट ने इस सड़क के लिए दो लेयर की मंजूरी दी है। इससे गांव वालों को खराब क्वालिटी का डर सता रहा है। सड़क मजबूत बन रही है। मुझे इसे पांच साल तक मेंटेन करना है। जिसे गांव वाले मिट्टी कह रहे हैं, वह असल में नदी की धूल है। इसे डिपार्टमेंट ने मंजूरी दी है। कंस्ट्रक्शन के दौरान ट्रैफिक नहीं रुक पा रहा है, जिससे सड़क भी उखड़ रही है।

    - मनोज लोहिया - कॉन्ट्रैक्टर।