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    बीमारी की रोकथाम के लिए भी चलेगा चूहा नियंत्रण अभियान, स्क्रब टाइफस के भी प्रमुख वाहक होते हैं चूहे

    By Navneet Prakash TripathiEdited By:
    Updated: Mon, 01 Nov 2021 01:22 PM (IST)

    कृषि विभाग इस बार फिर बीमारियों के नियंत्रण के लिए भी चूहा नियंत्रण अभियान चलाने जा रहा है। स्क्रब टाइफस बीमारी के प्रमुख वाहक भी चूहे हैं। चूहे पर पलने वाले पिस्सू में स्क्रब टाइफस के जीवाणु होते हैं। इसके चलते लोगों को स्क्रब टाइफस जैसी बीमारी होती है।

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    स्क्रब टाइफस के भी प्रमुख वाहक होते हैं चूहे। प्रतीकात्‍मक फोटो

    गोरखपुर, जागरण संवाददाता। कृषि विभाग इस बार फिर बीमारियों के नियंत्रण के लिए भी चूहा नियंत्रण अभियान चलाने जा रहा है। स्क्रब टाइफस बीमारी के प्रमुख वाहक भी चूहे हैं। चूहे पर पलने वाले पिस्सू में स्क्रब टाइफस के जीवाणु होते हैं। इसके चलते लोगों को स्क्रब टाइफस जैसी बीमारी होती है। ऐसे में कृषि विभाग की तैयारी है कि चूहा व छछूंदर नियंत्रण अभियान को चलाकर स्क्रब टाइफस समेत तमाम बीमारियों पर अंकुश लगाया जा सकता है।

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    किसानों के सबसे बडे शत्रु होते हैं चूहे

    चूहे किसानों के बड़े शत्रू होते हैं। खेत से लेकर गोदाम में रखे अनाज को नुकसान पहुंचाते हैं। कृषि विभाग चूहों के नियंत्रण के लिए समय-समय अभियान चलाता है। इस बार विभाग बीमारियों के रोकथाम के लिए अभियान चलाने जा रहा है। 144 गांवों में विशेष व 3448 गांवों में सामान्य अभियान चलाया जाना है। विभाग इसके लिए गांव-गांव जाकर प्रत्येक ग्रामीणों को जागरूक करेगा कि वह चूहों को खत्म करें।

    पिछले साल मारे गए थे 1913 चूहे

    पिछले साल अभियान के दौरान 1913 चूहे मृत पाए गए थे। इसके लिए करीब 28 हजार घरों में रसायन रखा गया था। जिले में अभियान के दौरान 16230 चूहे के बिल चिन्हित किए गए थे। चूहे मारने के लिए जन जागरूकता अभियान चलाया गया था। बैठकें हुई थीं और गाेष्ठियों का आयोजन किया गया था। कुल 2771 कार्यक्रम किए गए थे। इसकी देन रही कि 1913 चूहे मृत पाए गए। कृषि विभाग के मुताबिक चूहे करीब 10 फीसद फसलों को नुकसान पहुंचाते हैं।

    चूहों के नियंत्रण के लिए चलाया जाएगा अभियान

    जिला कृषि रक्षा अधिकारी संजय यादव ने बताया कि चूहा, छछूंदर नियंत्रण के लिए समय-समय पर अभियान चलाया जाता है। चूहे सिर्फ किसानों के ही दुश्मन नहीं हैं, बल्कि कई संक्रामक बीमारियों के प्रमुख वाहक हैं। स्क्रब टाइफस बीमारी के प्रमुख वाहक बताए गए हैं। इसे लेकर फिर चूहा नियंत्रण अभियान चलाया जाना है। ग्रामीणों को भी इसके विषय में जागरूक किया जाएगा।