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    गोरखपुर में BJP के मिशन-महासम्मेलन में महापुरुषों के नाम और सम्मान से साधा अनुसूचित स्वाभिमान, शामिल हुए 50 हजार लोग

    By Jagran NewsEdited By: Pragati Chand
    Updated: Sat, 04 Nov 2023 09:11 AM (IST)

    गोरखपुर में आयोजित भाजपा के महासम्मेलन में अनुसूचित समाज के 50 हजार से अधिक लोगों की मौजूदगी ने पार्टी का मनोबल बढ़ा दिया। साथ ही यह भीड़ इस बात का प्रमाण रही कि भाजपा ने अपनी नीतियों और कार्यों से उन्हें अपना बनाने का जो अभियान चलाया है उसका सकारात्मक परिणाम सामने आने लगा है। महासम्मेलन में सभी वक्ताओं का फोकस आंबेडकर व लोकप्रिय योजनाओं पर रहा।

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    महासम्मेलन के मंच से लेकर दीर्घा तक छाया रहा अनुसूचित समाज। -जागरण

    डा. राकेश राय, गोरखपुर। अनुसूचित जाति के मतों को साधने के लिए आयोजित भाजपा के मिशन-महासम्मेलन (अनुसूचित वर्ग महासम्मेलन) में शुक्रवार को भरपूर उत्साह दिखा। मंच से लेकर दीर्घा की अंतिम पंक्ति तक में बैठे और खड़े अनुसूचित समाज के लोगों का जोश देखते ही बना। गोरखपुर, बस्ती और आजमगढ़ मंडल के 10 जिलों से आए अनुसूचित समाज के 50 हजार से अधिक लोगों की मौजूदगी इस बात का प्रमाण रही कि भाजपा ने अपनी नीतियों और कार्यों से उन्हें अपना बनाने का जो अभियान चलाया है, उसका सकारात्मक परिणाम सामने आने लगा है। अनुसूचित समाज भाजपा को अपनाने में जुट गया है।

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    महासम्मेलन के मंच से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सहित सभी वक्ताओं ने अपने संबोधन में इसकी रही-सही कसर भी पूरी करने की कोशिश की। सभी ने अनुसूचित महापुरुषों के नाम और समाज के सम्मान से अनुसूचित स्वाभिमान को साधा। सभी के संबोधन के केंद्र में बाबा साहेब आंबेडकर रहे।

    सब एक स्वर से कहते दिखे कि बाबा साहब के सपनों को अगर कोई राजनीतिक दल साकार कर रहा है तो वह है केवल भाजपा। महर्षि वाल्मीकि, वेद व्यास, संत रविदास, रमाबाई जैसे महापुरुषों का नाम लेकर सभी ने अपने संबोधन क्रम को आगे बढ़ाया और अनुसूचित समाज के लिए भाजपा सरकार द्वारा किए कार्यों को क्रमवार गिनाया।

    मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने संक्षिप्त संबोधन में अनुसूचित समाज के लिए चलाई जा रही कल्याणकारी योजनाओं और उनके लाभार्थियों की संख्या गिनाकर अन्य वक्ताओं के दावों पर मुहर लगा दी। इस दौरान प्रदेश सरकार की मंत्री विजय लक्ष्मी गौतम, असीम अरुण, दुष्यंत गौतम, बृजलाल जैसे वक्ता अनुसूचित समाज विरोधी कार्यों को गिनाकर विपक्ष को घेरने का अवसर नहीं चूके।

    उन्होंने मंच से विपक्ष के अनुसूचित प्रेम को दिखावा करार दिया। महासम्मेलन के जरिये अनुसूचित समाज को साधने को लेकर भाजपा की योजना का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता था कि मंच से मुख्यमंत्री, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष और रवि किशन के अलावा केवल पार्टी के अनुसूचित नेता ही गरजे। इसके पीछे पार्टी की सोच अनुसूचित नेताओं के जरिये ही अनुसूचित समाज को अपना बनाने की रही।

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    अनुसूचित महापुरुषों के कटआउट से सजे थे गेट

    गोरखपुर सहित आसपास के 10 जिलों से आए अनुसूचित समाज के लोगों को महासम्मेलन परिसर में प्रवेश करते ही अपनेपन का अहसास हो, इसके लिए पैडलेगंज से लेकर आयोजन स्थल चंपा देवी पार्क तक लगे सभी गेट अनुसूचित महापुरुषों के कटआउट से सजाए गए थे। किसी गेट पर डा. आंबडेकर का कटआउट सजा था तो किसी पर रमाबाई का। संत रविदास भी एक गेट की शोभा थे।

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