Updated: Mon, 02 Jun 2025 05:39 PM (IST)
गोरखपुर के सुमेर सागर क्षेत्र में तार बदलने के दौरान एक कर्मचारी करंट लगने से गंभीर रूप से घायल हो गया। मुख्य अभियंता द्वारा शटडाउन पर रोक लगाने के बावजूद शटडाउन दिया गया जिससे यह हादसा हुआ। सुरक्षा मानकों के उल्लंघन की भी बात सामने आई है। मामले की जांच के आदेश दिए गए हैं।
जागरण संवाददाता, गोरखपुर। धर्मशाला उपकेंद्र से जुड़े सुमेर सागर क्षेत्र में जर्जर तार बदलने में बड़ी लापरवाही सामने आई। शटडाउन लेकर पोल पर चढ़ा अमरोहा निवासी 38 वर्षीय युवक करंट लगने से तार में फंसकर लटक गया। दूसरा कर्मचारी सीढ़ी पर चढ़ा और कर्मचारी का हाथ पकड़कर नीचे खींच लिया।
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तकरीबन 20 फीट की ऊंचाई से कर्मचारी सिर के बल ट्रांसफार्मर के प्लिंथ पर गिरा। इससे उसका सिर फट गया। उसकी हालत गंभीर है। शटडाउन देने पर भी सवाल उठ रहे हैं।
मुख्य अभियंता आशुतोष श्रीवास्तव ने बीएड की प्रवेश परीक्षा होने के कारण शटडाउन पर रोक लगा दी थी। इसके बाद भी मनमाने तरीके से शटडाउन दे दिया गया। हालांकि बताया जा रहा है कि शटडाउन विजय चौक फीडर का था, बगल से गुजर रही पुलिस लाइन फीडर की लाइन के संपर्क में कर्मचारी आ गया था।
सुरक्षा उपकरणों को पहनकर पोल पर चढ़ने के मानकों का भी उल्लंघन किया गया है। रीवैम्प्ड डिस्ट्रीब्यूशन सेक्टर स्कीम (आरडीएसएस) के तहत कार्यदायी संस्था मेसर्स लेजर पावर को जर्जर तार व पोल बदलने का काम मिला है। मेसर्स लेजर पावर ने पेटी कांट्रैक्टर के माध्यम से काम कराना शुरू किया है।
सुमेर सागर क्षेत्र में अमरोहा निवासी प्रमोद शर्मा काम करा रहे हैं। रविवार सुबह तकरीबन 11:15 बजे प्रमोद शर्मा के कर्मचारी फोन से धर्मशाला उपकेंद्र से विजय चौक फीडर का शटडाउन लिया। इसके बाद कर्मचारी संजय सीढ़ी के माध्यम से पोल पर चढ़ा।
प्रत्यक्षदर्शियों का कहना है कि उसने जैसे ही 11 हजार वोल्ट के तार पर हाथ रखा धमाका हुआ। इसके बाद वह 11 हजार वोल्ट के तार के नीचे से गुजर रही 440 वोल्ट की घरेलू लाइन के तार में फंस गया। पता चला कि बगल से गुजरे पुलिस लाइन फीडर की लाइन के संपर्क में कर्मचारी आ गया था।
अचानक धमाका और चीख सुनकर लोग उधर की तरफ भागे। संजय तार में फंसकर लटक गया था। उस समय साथ में और भी काम करने वाले मौजूद थे। इस बीच प्रमोद शर्मा का ही एक कर्मचारी सीढ़ी से ऊपर चढ़ा और हाथ पकड़कर उसने संजय को नीचे खींच लिया। इससे संजय सिर के बल नीचे रखे ट्रांसफार्मर के प्लिंथ पर गिर गया।
लोगों ने इस पर नाराजगी जतानी शुरू की तो हाथ खींचने वाला कर्मचारी भाग निकला। किसी ने पूरे घटनाक्रम का 30 सेकेंड का वीडियो बनाकर इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित कर दिया है। हालांकि दैनिक जागरण इस वीडियो की पुष्टि नहीं करता है।
ठीकेदार प्रमोद शर्मा को अपने अधीन काम करने वाले कर्मचारी के बारे में भी पूरी जानकारी नहीं है। उनसे मोबाइल नंबर पर फोन कर जानकारी मांगी गई तो बताया कि संजय हमारे तरफ का ही रहने वाला है। इससे ज्यादा जानकारी मुझे भी नहीं है। मैं गोरखपुर आ रहा हूं। रास्ते में हूं।
अभियंताओं का कहना है कि शटडाउन था। करंट लगने की जांच कराई जा रही है। उस समय पुलिस लाइन फीडर की लाइन ट्रिप कर गई थी। माना जा रहा है कि गलती से संजय ने पुलिस लाइन फीडर की लाइन छू ली थी। संजय जब पोल पर चढ़ा तो उसका नाबालिग बेटा भी मौके पर ही था।
बताया जा रहा है कि ठीकेदार के अधीन नाबालिग बेटा भी काम कर रहा था। वह घायल पिता के साथ जिला अस्पताल पहुंचा। निजी अस्पताल से मेरठ रेफर कराने में जुटे रहे कर्मचारी संजय को गंभीर हालत में जिला अस्पताल से मेडिकल कालेज रोड स्थित निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया। यहां उसके सही उपचार की जगह ठीकेदार के कर्मचारी मेरठ रेफर कराने में जुटे रहे।
वह संजय के बारे में पूरी जानकारी देने से भी कतराते रहे। लापरवाही से हुआ हादसा चेंबर आफ कामर्स के अध्यक्ष संजय सिंघानिया ने कहा कि ठीकेदार और अभियंताओं की लापरवाही से हादसा हुआ है। शटडाउन के बाद लाइन शुरू कर दी गई। घायल कर्मचारी को सुरक्षा के साथ नीचे उतारना चाहिए था लेकिन उसका हाथ खींचकर नीचे गिरा दिया गया है। यह गलत है।
पूरे प्रकरण की उच्चस्तरीय जांच होनी चाहिए। कोट बीएड की परीक्षा होने के कारण सभी शटडाउन पर रोक लगाई गई थी। इसके बाद भी कैसे शटडाउन दे दिया गया। तार में फंसे व्यक्ति को सुरक्षा के साथ भी उतारा जा सकता था। बिना सुरक्षा उपकरण कार्य होना गंभीर मामला है। मामले की जांच कराई जाएगी। आशुतोष श्रीवास्तव, मुख्य अभियंता
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