UP News: रेखा की बेटी है सृष्टि, 20 माह बाद DNA रिपोर्ट से हुई पुष्टि; पूरा मामला जानकर हो जाएंगे हैरान
कैंपियरगंज के ओम हॉस्पिटल में जन्मी बच्ची के डीएनए टेस्ट से पता चला कि वह रेखा की है न कि किसमती की। 20 महीने बाद आई रिपोर्ट में बच्ची संतकबीरनगर की रेखा की निकली जिसका नाम सृष्टी है। किसमती के पति मुनिराम ने अस्पताल पर गलत जानकारी देने का आरोप लगाया था जिसके बाद पुलिस ने डीएनए टेस्ट कराया था। अब पुलिस ने चार्जशीट दाखिल कर दी है।

जितेन्द्र पाण्डेय, जागरण गोरखपुर। कैंपियरगंगज के ओम हाॅस्पिटल में 24 नवंबर, 2023 को जन्मी बच्ची किसकी है, डीएनए रिपोर्ट ने इसका फैसला कर दिया। 20 महीने के लंबे इंतजार के बाद आई रिपोर्ट में बच्ची संतकबीरनगर जिले के मेहदावल कस्बा की रहने वाली रेखा की निकली।
इस समय वह डेढ़ वर्ष से उपर की हो गई है और माता-पिता ने उसका नाम सृष्टी रखा है। जबकि, जन्म के समय महराजगंज की किसमती देवी और संतकबीरनगर की रेखा ने इसे अपनी बेटी बताया, तो मामला पुलिस के पास पहुंचा था। किसमती के पति महराजगंज के मुनिराम साहनी ने केस दर्ज कराने पर पुलिस ने डीएनए टेस्ट कराने का निर्णय लिया था। रिपोर्ट आने के बाद पुलिस ने रिपोर्ट लगाते हुए कोर्ट में चार्जशीट भी दाखिल कर दी है।
24 नवंबर, 2023 को महराजगंज जिले के पुरंदरपुर थाना के भगवानपुर कोठी निवासी मुनिराम साहनी की पत्नी किसमती देवी को प्रसव पीड़ा हुई। उन्होंने पत्नी को कैंपियरगंज स्थित ओम हास्पिटल में भर्ती कराया। आपरेशन से बच्ची पैदा हुई।
मुनिराम का कहना था कि हास्पिटल के चिकित्सक केएन जायसवाल ने बताया कि बच्ची पूरी तरह से स्वस्थ है। खुशी में वह बाहर खड़े रिश्तेदारों को मिठाई खिलाने चले गए। लेकिन, दोबारा हास्पिटल के अंदर गए तो उन्हें बताया गया कि उनकी बच्ची मृत पैदा हुई थी। जिस बच्ची को बताया गया है वह संतकबीरनगर जिले के मेंहदावल कस्बा की रहने वाली रेखा की है।
इसके बाद मुनीराम ने अस्पताल संचालक पर आरोप लगाते हुए कैंपियरगंज पुलिस को सूचना दी। मौके पर पहुंची पुलिस ने जांच की तो सामने आया कि एक ही समय पर दोनों महिलाओं को बच्ची हुई थी। लेकिन मृत बच्ची के बारे में पूछने पर हॉस्पिटल संचालक व चिकित्सक द्वारा मुनीराम का नाम लिया गया।
इधर, दोनों महिलाएं व उनके पति जीवित बच्ची को अपना बताने लगे। पुलिस ने इस मामले में केस दर्ज करते हुए मृत बच्ची के शव का पोस्टमार्टम कराया। इसके बाद दोनों परिवारों का और जीवित बची का सैंपल लेकर लखनऊ लैब भेजा था।
दोनों परिवार मुंबई में रहकर करता है काम
संतकबीरनगर की रेखा और महराजगंज की किसमती देवी इस समय मुंबई में है। बातचीत के दौरान दौरान रेखा ने बताया कि वह पति के साथ मुंबई में रहती है, उसकी जेठ-जेठानी समेत अन्य लोग भी यहां पर रहकर काम करते है। वहीं मुनिराम ने बताया कि वह परिवार के साथ यहां रहते हुए काम करता है।
शुरू से मालूम था बच्ची मेरी है, अब खुशी हुई
संतकबीरनगर रेखा ने बताया कि उन्हें शुरू से मालूम था कि बच्ची उनकी है। पुलिस ने भी बच्ची की सुपुर्दगी उन्हें ही दी थी। लेकिन, विवाद होने के चलते मन में एक दुविधा बनी हुई थी। डीएनए रिपोर्ट आने के बाद समाप्त हो गई और वह बहुत खुश है। घटना के दिन का जिक्र करते हुए रेखा ने बताया कि वह अस्पताल में भर्ती थी। डॉ. उनका आपरेशन करने जा रहे थे। तभी किसमती देवी भी आई, उन्हें बहुत दर्द हो रहा था।
डॉ. के पूछने पर उन्होंने कहा कि पहले उनका आपरेशन कर दें। हालांकि, एक और चिकित्सक के आने पर पांच मिनट के अंतराल पर दोनों के बच्चे हुए। जन्म लेने के बाद मैने अपनी बच्ची को देखा था और उसे रोते हुए भी सुना था। वहीं किसमती देवी की बच्ची नहीं रोई थी। चिकित्सक के बताने पर उनके पति विवाद करने लगे और मामला डीएनए जांच तक पहुंच गया।
छह महीने बाद रिपोर्ट नहीं आने पर छोड़ दी उम्मीद
बच्ची पर दावा करने वाले मुनिराम साहनी ने कहा कि पुलिस की कार्यशैली से वह असंतुष्ट है। जब उन्होंने केस दर्ज कराया था और डीएनए जांच की बात सामने आई तो पुलिस ने कहा था कि छह महीने में रिपोर्ट आ जाएगी। लेकिन, रिपोर्ट नहीं आई, इंतजार करने के बाद वह मुंबई चले गए।
इसके बाद उन्हें एक और बच्ची हुई, जो इस समय छह महीने की हो चुकी है। मुनिराम ने सवाल उठाते हुए कहा कि 20 महीने बाद जो रिपोर्ट आई है, वह सही होगी, इसकी क्या गारंटी है। दोबारा जांच कराने की बात पर मुनिराम ने कहा कि अब उन्हें कुछ नहीं करना है।
डीएनए रिपोर्ट आने के बाद बच्ची का विवाद समाप्त हो गया। रिपोर्ट में बच्ची संतकबीरनगर की रहने वाली रेखा की है। केस दर्ज कराकर दावा करने वाले मुनिराम साहनी और उसकी पत्नी किसमती देवी की रिपोर्ट निगेटिव आई है। कैंपियरगंज थाना पुलिस ने मामले में रिपोर्ट लगाते हुए चार्जशीट कोर्ट में दाखिल कर दी है।
-जितेन्द्र कुमार श्रीवास्तव, एसपी नार्थ
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