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    Railway News: रेल कर्मचारियों के लिए बुरी खबर, रेलवे अब नहीं देगा ये सुविधा- लाभ लेने के लिए नया नियम लागू

    By Jagran NewsEdited By: Shivam Yadav
    Updated: Thu, 19 Oct 2023 08:00 AM (IST)

    Railway Latest News Update - रेल कर्मचारियों पेंशनरों और आश्रितों को अब निजी अस्पताल में बिना रेफर इमरजेंसी कैशलेस उपचार की सुविधा नहीं मिलेगी। रेलवे बोर्ड ने देशभर में चल रही कैशलेस ट्रीटमेंट स्कीम इन इमरजेंसी ( सीटीएसई ) को वापस ले लिया है। हालांकि गंभीर बीमारी पर रेल कर्मियों और परिजनों को पुरानी कैशलेस रेफरल की सुविधा यथावत मिलती रहेगी।

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    रेल कर्मियों के लिए आई बुरी खबर- कैशलेश उपचार सुविधा में हुआ बड़ा बदलाव

    प्रेम नारायण द्विवेदी, गोरखपुर। Railway News Latest Update - रेल कर्मचारियों, पेंशनरों और आश्रितों को अब निजी अस्पताल में बिना रेफर इमरजेंसी कैशलेस उपचार की सुविधा नहीं मिलेगी। रेलवे बोर्ड ने देशभर में चल रही कैशलेस ट्रीटमेंट स्कीम इन इमरजेंसी (सीटीएसई) को वापस ले लिया है। बोर्ड के प्रधान कार्यकारी निदेशक (स्वास्थ्य) डॉ. एके मल्होत्रा ने 16 अक्टूबर को पत्र लिखकर जोनल रेलवे को इससे अवगत कराया है। 

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    हालांकि, गंभीर बीमारी पर रेल कर्मियों और परिजनों को पुरानी कैशलेस रेफरल की सुविधा यथावत मिलती रहेगी। रेलवे बोर्ड ने जनवरी, 2021 में कर्मचारियों और परिजनों को आपात स्थिति में यथाशीघ्र समुचित उपचार की सुविधा उपलब्ध कराने के उद्देश्य से सीटीएसई को पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर लागू किया था। निजी अस्पतालों को पैनल में शामिल किया गया था। 

    सीटीएसई को तत्काल प्रभाव से वापस लेने का निर्णय

    गंभीर बीमारी से पीड़ित रेल कर्मचारी, पेंशनर या आश्रित आपात स्थिति में रेलवे अस्पताल से रेफर हुए बिना पैनल के निजी अस्पताल में इलाज करा सकते थे। रेलवे बोर्ड ने विचार-विमर्श और सक्षम प्राधिकारी के अनुमोदन के बाद सीटीएसई को तत्काल प्रभाव से वापस लेने का निर्णय लिया है।

    सीटीएसई सदस्यता के लिए जमा की गई राशि के लिए कार्डधारक को कोई रिफंड जारी नहीं किया जाएगा। प्रधान कार्यकारी निदेशक ने बताया है कि इस निर्णय पर रेल मंत्रालय के वित्त निदेशालय ने भी सहमति जताई है। 

    बोर्ड के फैसले से रेल कर्मियों में रोष

    रेल कर्मचारियों व संगठनों का कहना है कि अचानक तबीयत खराब होने पर कर्मचारियों व उनके परिजनों को यूएमआईडी (उम्मीद) कार्ड या सीटीएसई कार्ड के माध्यम से पैनल में शामिल निजी अस्पताल में उपचार की सुविधा मिल जा रही थी। रेलवे अस्पताल में रेफर के लिए चक्कर नहीं लगाना पड़ता था। 

    बोर्ड का यह निर्णय रेल कर्मियों के साथ विश्वासघात है। बोर्ड ने बिना फेडरेशन से चर्चा किए आदेश जारी कर दिया है। आल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन (एआईएफएफ) के माध्यम से इस प्रकरण को बोर्ड के समक्ष उठाया जाएगा। सीटीएसई की सुविधा फिर से बहाल नहीं हुई तो राष्ट्रव्यापी आंदोलन किया जाएगा।

    -केएल गुप्ता, महामंत्री, एनई रेलवे मजदूर यूनियन।

    सीटीएसई की सुविधा समाप्त होने पर रेलकर्मी ही नहीं, उनके पाल्य भी प्रभावित होंगे। पूर्वोत्तर रेलवे में ही लगभग 50 हजार कर्मचारी और 15 हजार पेंशनर हैं।

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