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    गोरखपुर महोत्सव : अंतिम दिन के सभी कार्यक्रम स्थगित Gorakhpur News

    By Pradeep SrivastavaEdited By:
    Updated: Mon, 13 Jan 2020 03:35 PM (IST)

    गोरखपुर महोत्सव के अंतिम दिन के सभी कार्यक्रम अगले आदेश तक के लिए स्थगित कर दिए गए हैं।

    गोरखपुर महोत्सव : अंतिम दिन के सभी कार्यक्रम स्थगित Gorakhpur News

    गोरखपुर, जेएनएन। गोरखपुर महोत्सव के अंतिम दिन के सभी कार्यक्रम अगले आदेश तक के लिए स्थगित कर दिए गए हैं। यह जानकारी महोत्सव समिति के अध्यक्ष और मंडलायुक्त जयंत नार्लिकर ने दी। बालीवुड नाइट को लेकर गायक सोनू निगम से आयोजकों की बातचीत जारी है जबकि भजन संध्या को लेकर अनुराधा पौडवाल ने अपनी सहमति मंगलवार के लिए दे दी है। हालांकि समापन आयोजन को लेकर अंतिम निर्णय सोमवार को लिए जाने की संभावना है।

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    इस कारण स्‍थगित हुए कार्यक्रम

    ओमान के सुल्तान काबूस बिन सईद के निधन पर सोमवार को राजकीय शोक घोषित होने के कारण सभी कार्यक्रम स्‍थगित हुए हैं। प्रशासनिक सूत्रों के मुताबिक अंतिम दिन यानी सोमवार को होने वाले सभी कार्यक्रम मंगलवार को आयोजित किए जाने की उम्मीद है।

    संभवामि युगे-युगे में दिखा सरदार पटेल का लौह व्यक्तित्व

    उधर, गोरखपुर महोत्सव के दूसरे दिन रविवार को गोरखपुर विश्वविद्यालय के दीक्षा भवन में सरदार वल्लभ भाई पटेल के जीवन पर आधारित नाटक 'संभवामि युगे-युगेÓ का मंचन किया गया। अभियान थिएटर ग्रुप की ओर से प्रस्तुत नाटक में सरदार पटेल का लौह व्यक्त्वि प्रदर्शित किया गया। नरेंद्र देव पांडेय द्वारा लिखित इस नाटक का निर्देशन श्रीनारायण पांडेय ने किया। डेढ़ घंटे के नाटक को 40 कलाकारों ने अपने शानदार अभिनय जीवंत कर दिया। नाटक की शुरुआत स्टैचू ऑफ यूनिटी के दृश्य से हुई। सूत्रधार ने कहानी को आगे बढ़ाया। दिखाया गया कि 1917 में महात्मा गांधी से मिलकर सरदार पटेल ने उनके साथ काम करने की इ'छा जताई। 1918 के खेड़ा आंदोलन और 1920 के असहयोग आंदोलन में उन्होंने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इसके अलावा कई अन्य आंदोलनों का कुशल नेतृत्व किया। नाटक में यह भी दिखाया गया कि बारदोली आंदोलन में वहां की महिलाओं ने वल्लभ भाई को सरदार की उपाधि दी। स्वतंत्रता के बाद प्रधानमंत्री पद की रस्साकशी को भी नाटक में दिखाया गया। आजादी के बाद रियासतों को मिलाने में सरदार पटेल की महत्वपूर्ण भूमिका का दृश्य दर्शकों को खूब भाया।

    आधुनिकता को समेटे नए रूप-रंग में दिखी खादी

    गोरखपुर महोत्सव में खादी ब्रांडेड कपड़ों से कम नहीं दिखी। एक ब्रांड के रूप में मॉडलों ने खादी का जलवा बिखेरा। तीन डिजाइनरों के हाथ से बनाए गए खादी के कपड़ों को 18 मॉडलों ने पहनकर मंच पर उसकी आभा बिखेरी। हर प्रस्तुति पर दर्शकों ने तालियों के साथ स्वागत किया। तीन डिजाइनरों- आसमां खातून, रूना बनर्जी व रूपिका रस्तोगी गुप्ता द्वारा बनाए गए खादी वस्त्रों को पहनकर कलाकारों ने जब रैंप पर वाक किया तो माहौल देखने लायक था। हर डिजाइनर के कपड़ों को पहन कर 16 महिला मॉडल व दो पुरुष मॉडल रैंप पर आए। ये वस्त्र एथेनिक खादी सिल्क के थे। इन्हें नए ढंग से डिजाइन किया गया था। नए रूप-रंग में आधुनिकता को समेटे इन वस्त्रों में परंपरागत वस्त्रों के अलावा शूट-सलवार, शादी के ड्रेस व दुल्हन के ड्रेस प्रमुख रूप से शामिल किए गए थे। तीनों डिजाइनरों के बनाए ड्रेस ये मॉडल तीन बार पहनकर रैंप पर उपस्थित हुए, हर बार दर्शकों ने तालियां बजाकर उनका स्वागत किया। मुख्य अतिथि नगर विधायक डॉ. राधामोहन दास अग्रवाल थे। इस अवसर पर कमिश्नर जयंत नार्लिकर, जीडीए उपाध्यक्ष अनुज सिंह व खादी ग्रामोद्योग अधिकारी एनपी मौर्या उपस्थित थे।