एक आंख की रोशनी पर भी ड्राइविंग लाइसेंस बनवा सकते हैं दिव्यांग Gorakhpur News
पूरी तरह दिव्यांग अपने अनुसार ढांचा बदलकर वाहन बनवा सकते हैं। परिवहन विभाग एडाप्टेड वेहिकल के नाम पर उनका ड्राइविंग लाइसेंस जारी करेगा। परिवहन विभाग दिव्यांगजनों के लिए भी लाइसेंस जारी करता है लेकिन जानकारी के अभाव में लोग लाभ नहीं उठा पाते।

गोरखपुर, जेएनएन। हियरिंग मशीन का उपयोग करने वाले श्रवणबाधित दिव्यांगों तथा एक नेत्र की रोशनी वाले दृष्टिबाधित दिव्यांग के लिए हल्के वाहनों के लिए ड्राइविंग लाइसेंस जारी करने का प्रावधान है। सामान्य की तरह की दिव्यांगता पर चिकित्सक की सलाह पर ड्राइविंग लाइसेंस भी जारी किए जाते हैं। एडाप्ट वेहिकल बनवाने वाले पूर्ण दिव्यांगों को वाहन पंजीकरण के अलावा अन्य टैक्स को छूट मिलती है।
पूरी तरह से दिव्यांगजन भी बनवा सकते हैं लाइसेंस
यह जानकारी संभागीय परिवहन अधिकारी अनीता सिंह ने दी। वह राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा माह के तहत स्पर्श दृष्टि बाधित इंटर कालेज में दिव्यांगजनों के लिए आयोजित जागरूकता कार्यक्रम को संबोधित कर रही थीं। उन्होंने बताया कि पूरी तरह दिव्यांग अपने अनुसार ढांचा बदलकर वाहन बनवा सकते हैं। परिवहन विभाग एडाप्टेड वेहिकल के नाम पर उनका ड्राइविंग लाइसेंस जारी करेगा। परिवहन विभाग दिव्यांगजनों के लिए भी लाइसेंस जारी करता है, लेकिन जानकारी के अभाव में लोग लाभ नहीं उठा पाते। विभाग में दिव्यांगजनों के लिए अतिरिक्त व्यवस्था सुनिश्चित की गई है।
दिव्यांगजनों को मिल रही सुविधाओं के बारे में दी गई जानकारी
सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी श्याम लाल ने ड्राइविंग लाइसेंस एवं अन्य प्रावधानों के संबंध में विस्तार से चर्चा की। जिला दिव्यांग कल्याण अधिकारी नितिन सिंह ने बताया कि दिव्यांगजनों को पेंशन, रेल किराया व निगम की बसों के किराए में छूट मिलती है। दिव्यांग विद्याॢथयों को छात्रवृत्ति, आयकर में छूट, राष्ट्रीय स्मारकों में मुफ्त प्रवेश, सरकारी नौकरियों तथा गैस एजेंसी, पेट्रोल पंप के आवंटन में आरक्षण की सुविधा दी जाती है। वरिष्ठ सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी (प्रवर्तन) बीके सिंह ने यातायात के नियमों की जानकारी दी।
छह दिव्यांग अभ्यर्थियों के बनेंगे ड्राइविंग लाइसेंस
दिव्यांगजनों के लिए परिवहन विभाग में कैंप का आयोजन किया गया था। जिसमें 15 अभ्यर्थियों ने ड्राइविंग लाइसेंस के लिए आवेदन किया था। छह के आवेदन पत्र सही पाए गए हैं। लाइसेंस बनाने की प्रक्रिया शुरू हो गई है। हालांकि, एआरटीओ ने दो दिव्यांग अभ्यर्थियों को लाइसेंस तत्काल जारी कर दिया।
सूचि, दिव्यांशी और प्रशांत ने मारी बाजी
राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा माह के तहत दिग्विजयनाथ स्नातकोत्तर महाविद्यालय में पोस्टर, स्लोगन एवं क्विज प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। प्रतियोगिता में 50 से अधिक प्रतिभागियों ने भाग लिया। पोस्टर प्रतियोगिता में सूचि त्रिपाठी, स्लोगन में दिव्यांशी श्रीवास्तव एवं क्विज प्रतियोगिता में प्रशांत दूबे ने बाजी मारी।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।