मेडिकल कालेज के निर्माण में लगा लापरवाही का रोग
मंडल मुख्यालय पर मेडिकल कालेज निर्माण लापरवाही में
गोंडा : मंडल मुख्यालय पर मेडिकल कालेज निर्माण लापरवाही में फंसा हुआ है। अब इसके डिजाइन का मामला अफसरों के दफ्तर में कैद है। ऐसे में अभी तक शिलान्यास की प्रक्रिया नहीं हो सकी है। फिलहाल, अधिकारियों का दावा है कि जल्द ही शिलान्यास कराया जाएगा।
लंबे समय से मेडिकल कालेज निर्माण की मांग चल रही थी। दो साल पहले सरकार ने मेडिकल कालेज निर्माण को हरी झंडी दे दी। इसके लिए सर्किट हाउस के सामने जगह खोजी गई। यहां पर प्रशासनिक भवन बनाया जाएगा। इसके अलावा जिला अस्पताल में 200 बेड का विस्तार करके उसे 500 बेड का बनाया जाएगा। 281 करोड़ के इस प्रोजेक्ट के निर्माण का जिम्मा लोक निर्माण विभाग को दिया गया है। विभाग ने इसके लिए टेंडर कराया। इसके बाद वेन्सा इन्फ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड हैदराबाद के श्रमिकों की टीम यहां पर पहुंच गई। सर्किट हाउस के सामने श्रमिकों का आवास बना दिया गया। मशीनें व निर्माण सामग्री भी आनी शुरू हो गई लेकिन, अभी तक डिजाइन नहीं पास हो सकी है। नोडल अधिकारी देवेंद्र मणि का कहना है कि डिजाइन संबंधी प्रक्रिया चल रही है, जल्द ही शिलान्यास कराया जाएगा। ध्वस्त होंगे कर्मचारियों के आवास
मेडिकल कालेज के लिए 200 बेड का भवन और बनाया जाना है। इसके लिए पर्चा काउंटर के पास से कर्मचारी आवास तक गिराने की तैयारी है। इसके लिए पत्राचार की प्रक्रिया चल रही है। जल्द शुरू हो निर्माण
सरकुलर रोड के देवव्रत सिंह का कहना है कि मेडिकल कालेज का निर्माण आवश्यक है। बेहतर इलाज के लिए लोगों को लखनऊ व अन्य शहरों में जाना पड़ता है। मेडिकल कालेज बनने से काफी राहत मिलेगी। अलंकार सिंह का कहना है कि मेडिकल कालेज निर्माण में कोई लापरवाही नहीं होनी चाहिए। बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष रवि चंद्र त्रिपाठी का कहना है कि मेडिकल कालेज आम जन से जुड़ा है, ऐसे में इसके प्रति अफसरों को विशेष सजग होना होगा। अधिवक्ता सुरेंद्र मिश्र का कहना है कि जब सरकार ने बजट जारी कर दिया है तो अफसर क्यों देरी कर रहे हैं। इसकी शिकायत डीएम से की जाएगी।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।