गोंडा में 2 करोड़ का प्लांट, मगर अस्पताल तक नहीं पुहंचा 'ऑक्सीजन'; आखिर क्या है वजह?
गोंडा के कोविड अस्पताल में दो करोड़ की लागत से बना ऑक्सीजन प्लांट निष्क्रिय है जिससे मरीजों को परेशानी हो रही है। वर्ष 2020 में बने इस प्लांट में ऑक्सीजन का उत्पादन ही नहीं हो रहा है जिसके चलते 100 बेड वाले अस्पताल में वेंटिलेटर बेकार हो रहे हैं। अधिकारी प्लांट को चालू करने की कवायद में लगे हैं और पाइपलाइन की जाँच की जा रही है।

जागरण संवाददाता, गोंडा। कोविड हास्पिटल के लिए बनाए गए 1500 लीटर प्रति मिनट की क्षमता वाले आक्सीजन प्लांट में आक्सीजन ही नहीं बन रही है। दो करोड़ रुपये खर्च करके प्लांट बनाया गया था।
100 बेड के अस्पताल में आक्सीजन के अभाव में वेंटिलेटर खराब हो रहे हैं। स्वास्थ्य अधिकारी पत्राचार किए जाने का दावा कर रहे हैं, लेकिन प्लांट से बेड तक आक्सीजन नहीं पहुंचाया जा सका है। इसका खामियाजा रोगियों को भुगतना पड़ सकता है।
ओमिक्रोन से बचाव को लेकर मेडिकल कालेज से संबद्ध बाबू ईश्वर शरण चिकित्सालय जिला अस्पताल परिसर में संचालित कोविड हास्पिटल के लिए अलग से दो करोड़ रुपये खर्च करके वर्ष 2020 में आक्सीजन प्लांट बनाया गया। निर्माण का जिम्मा अफसरों ने लोक निर्माण विभाग को सौंपा था।
आक्सीजन प्लांट के संचालन में जनरेटर की समस्या पहले से ही बनी हुई थी। ऐसे में आक्सीजन प्लांट का बिजली कनेक्शन डायरेक्ट ट्रांसफार्मर से कर दिया गया था। फिर प्लांट चालू करके कार्यदायी संस्था ने शट डाउन किया गया था।
इसके बाद जब कार्यदायी संस्था ने दोबारा प्लांट को शुरू किया तो एक और दिक्कत सामने आ गई। आक्सीजन प्लांट में आक्सीजन ही नहीं बन रही है तभी से आक्सीजन प्लांट बंद पड़ा है। वार्ड तक प्लांट से आक्सीजन की आपूर्ति नहीं की जा सकी है।
प्लांट की स्थापना होने के बाद भी इसका लाभ रोगियों को नहीं मिल सका है। संस्था चयन व उपकरण में ही आक्सीजन प्लांट की मरम्मत का प्रकरण उलझा रहा। कई बार संस्था के प्रतिनिधि से दौरा किया, लेकिन कुछ नतीजा नहीं रहा। अब एक बार फिर से प्लांट को चालू करने की कवायद शुरू की गई है।
आक्सीजन प्लांट को चालू करने के लिए कार्यदायी संस्था के कर्मचारी लगे हैं। वार्ड तक आक्सीजन पहुंचाने के लिए पाइप लाइन की जांच के लिए कहा गया है। दो से चार दिनों में प्लांट से सीधे वार्ड को आक्सीजन की आपूर्ति की जाएगी।
- डा धनजंय श्रीकांत कोटास्थाने, प्रधानाचार्य स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।