बाथरूम चमकाने के चक्कर में महिला ने मिला दिए दो केमिकल, ICU में होना पड़ा भर्ती; आप भूल से भी न करें ये गलती
गाजियाबाद में बाथरूम चमकाने के चक्कर में एक महिला ने दो केमिकल मिला दिए, जिसके कारण उसे आईसीयू में भर्ती कराना पड़ा। महिला की हालत गंभीर है और डॉक्टरो ...और पढ़ें

एआई जनरेटेड इमेज।
जागरण संवाददाता, साहिबाबाद। इंदिरापुरम में बाथरूम चमकाने के लिए दो केमिकल का एक साथ प्रयोग करना महिला को भारी पड़ गया। टायलेट क्लीनर में ब्लीच मिलाकर सफाई कर रही महिला की तबीयत अचानक बिगड़ गई। उसे तुरंत यशोदा मेडिसिटी में भर्ती कराया गया, जहां कुछ देर आईसीयू में रखने के बाद उसे छुट्टी दे दी गई।
बताया जा रहा है कि घर में मेहमानों के आने से पहले महिला सफाई कर रही थी। टायलेट को ज्यादा चमकाने के लिए क्लीनर के साथ ब्लीच का प्रयोग किया गया, लेकिन थोड़ी देर में केमिकल ने रिएक्शन किया और हल्का धुआं सांस के जरिये फेफड़े में जाने लगा।
बाथरूम से महिला की आवाज आने पर स्वजन दौड़े तो वह बेहोशी जैसी हालत में मिली। उसे सांस लेने में भी तकलीफ हो रही थी। मेडिसिटी में महिला को तुरंत इलाज दिया गया। थोड़ी देर आईसीयू में रखने के बाद उसे छ्ट्टी दे दी गई।
अस्पताल के सीनियर कंसल्टेंट डाॅ. अंकित भाटिया ने बताया कि टायलेट क्लीनर पर भी लिखा होता है कि इसका इस्तेमाल करते वक्त इसमें कोई अन्य केमिकल न मिलाएं। महिला के घर से टायलेट क्लीनर मंगाकर दिखाया गया।
दोनों केमिकल के मिलने से जहरीली गैस बनती है, जो फेंफड़ों को तुरंत नुकसान पहुंचाती है। फिलहाल महिला की हालत खतरे से बाहर है और उन्हें इलाज के बाद छ्ट्टी दे दी गई थी।
बाथरूम की सफाई करने के दौरान दरवाजा बंद न करें
- टॉयलेट क्लीनर में मौजूद हाइड्रोक्लोरिक एसिड और ब्लीच में मौजूद सोडियम हाइपोक्लोराइट मिलकर क्लोरीन गैस बनाते हैं, इस गैस का फेफड़े पर सीधा असर पड़ता है।
- ब्लीच के साथ अमोनिया या ग्लास क्लीनर मिलाने पर क्लोरामाइन गैस बनती है, ये भी फेफड़े पर सीधा असर करती हैं और सांस लेने में दिक्कत होती है।
- ब्लीच और सिरका या नींबू युक्त क्लीनर मिलाने पर भी क्लोरीन गैस बनती हैं, जिससे सांस लेने में दिक्कत होती है।
- ब्लीच और एल्कोहल बेस्ड क्लीनर मिलाने पर क्लोरोफॉर्म और टॉक्सिक गैस बन जाती है, जिससे चक्कर आता हैे और बेहोश कर देती है।
इन गैसों के संपर्क में आने से होती हैं ये दिक्कतें
सांस लेने में दिक्कत के साथ ही गले में जलन और आंखों में चुभन होती है। सीना जकड़ा लगता है और खांसी आने लगती है। चक्कर आने के साथ ही इसके संपर्क में आने वाला बेहोश हो जाता है। फेफड़े में सूजन तक आ जाती है।
ऐसी दुर्घटनाओं से बचने के लिए बरतें ये सावधानी
- कभी भी दो सफाई केमिकल आपस में न मिलाएं, टायलेट क्लीनर, ब्लीच, एसिड, डिसइंफेक्टेंट या किसी भी अन्य केमिकल को मिलाने से जहरीली गैस बन सकती है, जो फेफड़ों और आंखों को गंभीर नुकसान पहुंचाती है।
- बाथरूम की सफाई हमेशा वेंटिलेशन के साथ करें, खिड़की और एग्जॉस्ट फैन चालू रखें, ताकि कोई भी गैस जमा न हो।
- प्रॉडक्ट पर लिखे निर्देश जरूर पढ़ें, अधिकांश क्लीनर पर साफ लिखा होता है कि इसे दूसरे किसी केमिकल के साथ न मिलाएं। इन चेतावनियों को अनदेखा न करें।
- सफाई करते समय दस्ताने और मास्क का उपयोग करें, केमिकल के छींटे और गंध से बचाव के लिए यह आवश्यक है।
- एक केमिकल के बाद दूसरा उपयोग करना हो तो पहले अच्छी तरह पानी से धुलकर सफाई करें, ताकि कोई अवशेष (residue) मिलकर प्रतिक्रिया न करे।
- केमिकल बच्चों की पहुंच से दूर रखें और ढक्कन हमेशा कसकर बंद करके रखें।
- अगर अचानक चक्कर, जलन, सांस लेने में परेशानी महसूस हो तो तुरंत बाहर जाए, ताजी हवा लें और लक्षण बढ़ने पर तुरंत डॉक्टर की मदद लें।
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