Air Pollution: देश का चौथा सबसे प्रदूषित शहर रहा गाजियाबाद, जानिए दूसरे और तीसरे स्थान पर कौन?
साहिबाबाद में प्रदूषण का कहर जारी है। लोनी की हवा लगातार खराब और गंभीर श्रेणी में बनी हुई है। रविवार को दोपहर एक बजे लोनी का एक्यूआई 403 पर पहुंच गया। वहीं जिला देश का चौथा सबसे प्रदूषित शहर रहा। यहां एक्यूआई 212 दर्ज किया गया। जानिए प्रदूषण के कारण और इससे होने वाले स्वास्थ्य संबंधी खतरों के बारे में।
जागरण संवाददाता, साहिबाबाद। जिले के लोगों को प्रदूषण से राहत नहीं मिल रही है। लोनी में हालात सबसे ज्यादा खराब बने हुए हैं। रविवार को दोपहर एक बजे लोनी का एक्यूआई 403 पर पहुंच गया। हालांकि, शाम चार बजे यह गिरकर 386 पर पहुंच गया। वहीं, जिला देश का चौथा सबसे प्रदूषित शहर रहा। यहां एक्यूआई 212 दर्ज किया गया।
लोनी की हवा 19 मार्च से बेहद खराब और गंभीर श्रेणी में बनी हुई है। इसके बाद 13 दिन हवा खराब और चार दिन गंभीर श्रेणी में रही। एक्यूआई 438 पर पहुंच गया। दोनों ही श्रेणी की हवा लोगों के स्वास्थ्य के लिए सबसे ज्यादा नुकसानदायक है।
सबसे ज्यादा दिक्कत सांस और अस्थमा के रोगियों को होती है। वह ठीक से सांस नहीं ले पाते हैं। एक ओर स्थानीय लोग लोनी में प्रदूषण का सबसे बड़ा कारण अवैध फैक्ट्रियों को मान रहे हैं। वहीं बोर्ड के अधिकारी प्रदूषण मापक यंत्र में तकनीकी खराबी का हवाला दे रहे हैं। इसके अलावा जिले की स्थिति भी खराब बनी हुई है।
अंतिम बार 22 फरवरी को मध्यम श्रेणी में रही थी हवा
आखिरी बार लोनी की हवा 22 फरवरी को मध्यम श्रेणी यानी एक्यूआई 100 से नीचे थी। एक्यूआई 98 दर्ज किया गया था। जबकि, जनवरी से अब तक सिर्फ पांच दिन ही हवा मध्यम श्रेणी में रही है।
इस वर्ष 10 दिन बंद रहा लोनी का मापक यंत्र
जिले का एक्यूआई मापने के लिए वसुंधरा, लोनी, संजयनगर और इंदिरापुरम में प्रदूषण मापक यंत्र लगाए गए हैं। लोनी का प्रदूषण मापक यंत्र अधिकांश समय खराब रहता है। लोनी का प्रदूषण मापक यंत्र एक जनवरी से छह अप्रैल तक 10 दिन खराब रहा। इसके चलते जिले का औसत प्रदूषण कम दर्ज किया गया है।
रविवार को एक्यूआइ की स्थिति
- गाजियाबाद- 212
- लोनी- 386
- संजय नगर- 206
- वसुंधरा- 122
- इंदिरापुरम- 134
देश के सबसे प्रदूषित शहर
शहर | एक्यूआइ |
हाजीपुर | 258 |
सिवान | 249 |
बड़बिल | 223 |
गाजियाबाद | 223 |
लोनी के प्रदूषण मापक यंत्र में तकनीकी खराबी के कारण अधिक प्रदूषण दर्ज किया जा रहा है। इसकी जांच कराई जा रही है। प्रदूषण रोकने के लिए लगातार काम भी किया जा रहा है।
-विकास मिश्रा, क्षेत्रीय अधिकारी, उत्तर प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड।
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