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    नगला काले में नहीं हुआ विकास का उजाला

    - कुतुबपुर साहब ग्राम पंचायत के इस गांव में दिखी बदहाली यमुना के नजदीक होने पर भी फेल हुए हैंडपंप नहीं बने शौचालय।

    By JagranEdited By: Updated: Wed, 24 Feb 2021 06:04 AM (IST)
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    नगला काले में नहीं हुआ विकास का उजाला

    संवाद सहयोगी, टूंडला, (फीरोजाबाद): ग्राम पंचायत कुतुबपुर साहब में शामिल गांव नगला काले में विकास का उजाला अब तक नहीं हुआ है। गांव की अधिकांश गलियां बदहाल हैं और हैंडपंप खराब पड़े हैं। कई घरों में शौचालय बनने से ग्रामीण लोटा पार्टी करने को मजबूर हैं।

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    तहसील मुख्यालय से आठ किलोमीटर दूर कुतुबपुर साहब में नगला काले और कुतुबपुर गांव शामिल है। इनकी कुल आबादी छह हजार और मतदाताओं की संख्या 2750 है। बदहाली की झलक नगला काले में प्रवेश करते ही दिख जाती है। चार बच्चों के साथ झोपड़ी में रहने वाली कल्लो देवी वाल्मीकि मजदूरी करती हैं। इसके बाद भी उन्हें प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ नहीं मिल सका है। कुतुबपुर साहब में प्रवेश करते ही कीचड़ व गंदगी से सामना होता है। जलनिकासी का इंतजाम न होने से जलभराव की समस्या रहती है।

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    ये हैं प्रमुख समस्याएं

    -ग्राम पंचायत में जलापूर्ति की नहीं है कोई सुविधा।

    -ध्वस्त पड़ी है जल निकासी और सफाई व्यवस्था।

    -शौचालय निर्माण का लक्ष्य नहीं हुआ पूरा।

    -ग्रामीणों को नहीं है सरकारी योजनाओं की जानकारी।

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    -गांव में विकास का कोई काम नहीं हुआ। जल निकासी न होने से गलियों में जलभराव रहता है। बरसात में हालात नरक जैसे हो जाते हैं, लेकिन कोई देखने वाला नहीं है। -बाबू खां -यमुना का किनारा होने के बाद भी गांव में लगे अधिकांश हैंडपंप खराब हैं। कई बार शिकायत की, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। पूरे गांव में पेयजल संकट है। -राजपाल बघेल -गांव में अभी भी शौचालय बनाने का काम पूरा नहीं हुआ है। कई परिवार घर में शौचालय न होने के कारण खेतों में शौच करने जाते हैं। इससे गांव में गंदगी रहती है। -कल्लो देवी -गांव में कई निर्धन परिवार हैं। जिनके पास जमीन तो है, लेकिन घर बनवाने को पैसे नहीं है। आवेदन के बाद भी इन्हें प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ नहीं दिया गया है।

    -पप्पू धाकरे

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    ग्राम पंचायत में इतना बजट नहीं आया कि सभी गलियां पक्की कराई जा सकें। फिर भी कई गलियां पक्की करा दी है। शौचालय भी बनवाए थे, लेकिन कुछ लोगों ने इन्हें तोड़ लिया है। -विमला देवी, निवर्तमान प्रधान