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    फर्रुखाबाद मंडी में टैक्स चोरी का खेल, फर्जी गेट पास बना निकाल देते आलू, मक्का, मूंगफली

    फर्रुखाबाद की सातनपुर मंडी टैक्स चोरी का खेल चल रहा है। फर्जी गेटपास जारी कर लाखों रुपये की टैक्स चोरी की जा रही है। सरकार को नुकसान लगाकर बिचौलिये इससे मालामाल हो रहे हैं। फर्जी गेट पास बना आलू मक्का मूंगफली इत्यादि निकाल देते हैं। पकड़े जाने पर दलाल जुर्माना भर देते हैं।

    By brajesh mishra Edited By: Anurag Shukla1Updated: Sun, 06 Jul 2025 05:30 PM (IST)
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    फर्जी गेटपास जारी कर लाखों रुपये की टैक्स चोरी का मामला।

    जागरण संवाददाता, फर्रुखाबाद। सातनपुर मंडी पहले से टैक्स चोरी के मामले में चर्चित है। कोल्ड स्टोरेज में भंडारित होने वाले आलू के साथ ही मूंगफली व मक्का भी मंडी से बड़ी तादाद में कच्ची पर्ची जारी कर निकाली जाती है। ताजा मामला फर्जी गेटपास का सामने आया है। इस खेल में स्थानीय मंडी कर्मचारी व मुख्यालय तक की साठगांठ है।

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    गेटपास जारी कराने वाले दलाल रास्ते में माल पकड़ जाने पर जुर्माना भी खुद ही भरते हैं। ऐसे दो मामले सामने आए हैं, जिनमें दलाल ने ही लाखों रुपये का जुर्माना जमा किया है। शहर की सातनपुर मंडी में टैक्स चोरी का खेल वर्षों से चल रहा है।

    तीन मंडी सचिवों सहित कई कर्मचारियों को गड़बड़ी के आरोप में निलंंबित भी किया गया, लेकिन बाद में सब बहाल हो गए। इसके बावजूद मंडी में टैक्स चोरी बंद नहीं हो पाई। बड़ी तादाद में फर्जी गेटपास जारी कर आलू, मक्का, मूंगफली आदि निकाली जा रही है। ऐसे कई मामले सामने आए हैं, जिनमें एक ही नंबर पर कई गेटपास जारी किए गए। इस खेल में स्थानीय मंडी कर्मियों के साथ ही मुख्यालय तक के कर्मचारी जुड़े हैं।

    सातनपुर मंडी से चार अप्रैल 2025 को गेटपास संख्या 90405691(78) / जीपी / 00044 जारी किया गया। एक अन्य गेट पास 10 मई 2025 को जारी किया गया, जिसकी गेट पास संख्या भी 90405691(78) / जीपी / 00044 है। दोनों गेटपास पर वाहनों का नंबर और खरीददार फर्म अलग-अलग दर्ज हैं। आठ मई 2025 को मंडी से गेट पास संख्या 51235199 (78) / जीपी / 00124 जारी किया गया। जबकि 18 मई 2025 को गेट पास संख्या 51235199 (78) / जीपी / 00121 जारी हुआ।

    इस तरह के मामले तो बड़ी तादाद में हैं। इसकी जानकारी मंडी के उच्च अधिकारियों को भी है। हाल ही में इसकी शिकायत भी हुई थी, जिसमें गोपनीय जांच कराने का आश्वासन भी दिया गया था। बताया यह जा रहा है कि हर गेटपास पर वाहन के गंतव्य तक पहुंचने का समय निर्धारित होता है। समय पूरा होने पर गेटपास को कागज पर निरस्त कर दिया जाता है अथवा वह आनलाइन नहीं दिखते।

    जांच में यह तभी पकड़ में आ सकता है जब संबंधित वाहन चालक व मालिक से पूछताछ की जाए और प्रपत्रों का मिलान हो। एक कोल्ड स्टोरेज मालिक सहित दो लोगों के आलू के ट्रक पिछले दिनों पकड़ गए थे। जिन पर करीब छह लाख रुपये जुर्माना हुआ। यह जुर्माना दलाल की ओर से ही जमा कर मामले को रफादफा किया गया।

    इस संबंध में प्रभारी मंंडी सचिव अनूप कुमार दीक्षित संपर्क करने का प्रयास किया गया तो मोबाइल फोन स्विच आफ था। मंडी के प्रशासक सिटी मजिस्ट्रेट संजय बंसल ने बताया कि उन्हें इस संबंध में कोई शिकायत नही मिली है। शिकायत मिलने पर जांच कर कार्रवाई की जाएगी।