तीन महीने में एक करोड़ की स्टांप चोरी
माझा मीरापुर द्वाबा व बरहटा में कृषि भूमि की रजिस्ट्री से लगी राजस्व की चपत

आनंदमोहन, अयोध्या : रामनगरी के आसपास भूमि की खरीद फरोख्त में बड़े पैमाने पर स्टांप (चोरी) कमी का मामला सामने आया है। तीन महीने में लगभग एक करोड़ रुपये की स्टांप चोरी कलेक्टर अनुज कुमार झा व सहायक आयुक्त स्टांप (एआइजी) एमके मिश्र ने अदालती सुनवाई में पकड़ी है। ये कृषि भूमि माझा बरहटा व मीरापुर द्वाबा की हैं जिनकी कीमतें रामनगरी के ग्लोबल सिटी बनाये जाने के नाम पर आसमान छूने को बेताब हैं। जिला शासकीय अधिवक्ता (राजस्व) अनिल अग्रवाल के अनुसार लेखपत्रों में स्थलीय तथ्यों को छिपा कर रजिस्ट्री करा सरकारी खजाने को कम स्टांप शुल्क की अदायगी कर चपत लगाई गयी है। कलेक्टर अदालत ने 70 लाख व एआइजी अदालत ने 16 लाख स्टांप की कमी व अर्थदंड आरोपित किया है। स्टांप कमी की धनराशि के साथ 1.5 फीसद ब्याज प्रति माह की दर से इसमें अतिरिक्त देय है। स्टांप कमी की यह धनराशि 10 लेखपत्रों की है। कलेक्टर कोर्ट ने माझा मीरापुर द्वाबा के चार लेखपत्रों पर स्टांप कमी में लगभग 70 लाख धनराशि आरोपित की है। बैनामा तिथि से आरोपित धनराशि का डेढ़ फीसद प्रतिमाह की दर से साधारण ब्याज भी खरीदारों से वसूला जाना है। खरीदारों के नाम रवि बंसल, अरविद कुमार मौर्य, पूनम चौरसिया व नरेशचंद्र हैं। स्टांप चोरी की चपेट में आये इनमें से दो खरीदार पूर्व सहायक अभिलेख अधिकारी रामशंकर के बहुचर्चित फार्च्यूनर गिफ्ट प्रकरण से भी जुड़े हैं। एआइजी कोर्ट में जिस स्टांप कमी वाले बैनामा की सुनवाई हुई, वह माझा बरहटा स्थित महर्षि रामायण विद्यापीठ की कृषि भूमि है। उप निबंधक सदर की गोपनीय जांच के बाद सच्चाई सामने आई कि पक्की सड़क व आबादी से लगे तथ्य को छिपा कर बैनामा कराया गया। महर्षि रामायण विद्यापीठ ट्रस्ट की कृषि भूमि अधिकृत अखिलेश कुमार तिवारी से महंत सीतारामदास, विकासचंद्र श्रीवास्तव, बद्रीनाथ तिवारी, भुल्लर यादव व समरजीत वर्मा ने रजिस्ट्री करायी है। 17 लाख 68 हजार स्टांप शुल्क के स्थान पर मात्र चार लाख 10 हजार रुपये की अदायगी की गई। सहायक आयुक्त स्टांप ने 16 लाख 68 हजार स्टांप शुल्क कमी आरोपित की है।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।