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    मनुष्य के जीवन में प्रथम गुरु ही होती है माता

    By JagranEdited By:
    Updated: Sun, 07 May 2017 06:29 PM (IST)

    जागरण संवाददाता, एटा: शहर के मायादेवी रामचंद्र कन्या विद्यालय में आयोजित निरंकारी मिशन के सत्संग में

    मनुष्य के जीवन में प्रथम गुरु ही होती है माता

    जागरण संवाददाता, एटा: शहर के मायादेवी रामचंद्र कन्या विद्यालय में आयोजित निरंकारी मिशन के सत्संग में संत नोतनदास ने गुरु के ज्ञान की महत्ता पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि जब तक व्यक्ति को गुरु का सहारा नहीं मिलता तब तक उसका कल्याण नहीं हो पाता। गुरु से ही जीवन का पथ प्रदर्शित होता है।

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    उन्होंने बताया कि बच्चे की सबसे पहली गुरु उसकी माता होती है, जो उसको परिवार के तौर तरीकों से परिचय कराती है। इसके बाद जब बड़ा होता है तो उसे विभिन्न सांसारिक गुरुओं का सानिध्य प्राप्त होता है। जो शिक्षा और व्यवसाय के क्षेत्र में उसका ज्ञान वर्धन करते है। जब व्यक्ति को आध्यात्मिक गुरु का सहारा मिलता है, तब उसके सभी प्रकार के ज्ञान के चक्षु खुल जाते हैं। सत्संग में बोलते हुए उन्होंने बताया कि अनेकता में एकता के लक्ष्य को लेकर मिशन समूचे विश्व को एकजुट कर रहा है।

    इस मौके पर पवन कुमार, योगेंद्र कुमार, यशपाल ¨सह, मीडिया प्रभारी अमित कुमार, मानपाल, महेंद्रपाल, प्रेमचंद्र, जवाहर ¨सह, सेवाराम, विरेंद्र, अमर ¨सह, किशनपाल, अर¨वद, श्याम, भूप¨सह, कीर्तिपाल, चंद्रभान, विकास, प्रशांत, हरीकिशन, पूरन, प्रमोद, हेमा, नेहा, मार्गश्री, विनीता, विद्या आदि मौजूद थे।

    13 को मनेगा समर्पण दिवस

    संयोजक यशपाल ¨सह ने बताया कि 13 मई को सुबह 10 बजे से दिल्ली के बुराड़ी रोड स्थित निरंकारी मिशन कार्यालय पर बाबा हरदेव ¨सह महाराज की स्मृति में समर्पण दिवस समागम का आयोजन किया जाएगा।

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