कंट्रोल रूम में करें फोन, खाद-बीज व फसलों की मिलेगी जानकारी
सहूलियत कृषि विभाग ने किसानों की सुविधा के लिए कंट्रोल रूम में किया शुरू - किसी भी वक्त फ ...और पढ़ें

सहूलियत :
कृषि विभाग ने किसानों की सुविधा के लिए कंट्रोल रूम में किया शुरू
- किसी भी वक्त फोन कर गड़बड़ी व मिलावट की करें शिकायत
- मिलावटखोरी पर रोक लगाने के लिए विभाग ने की विशेष पहल जागरण संवाददाता, चंदौली : खाद-बीज की बिक्री और वितरण में धांधली करने वाले दुकानदारों की शिकायत अब सीधे कंट्रोल रूम में कर सकते हैं। मानीटरिग और किसानों की सहूलियत के लिए कृषि विभाग ने कंट्रोल रूम बनाया है। यदि कोई भी दुकानदार खाद व बीज की निर्धारित दर से अधिक कीमत वसूलता हो अथवा मिलावटखोरी करता है तो किसान बेझिझक कंट्रोल रूम में फोनकर शिकायत कर सकते हैं। तत्काल संबंधित दुकानदार के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। यहां से खाद-बीज के बारे में जानकारी भी मिलेगी। विभाग की पहल से किसानों को राहत होगी। वहीं गड़बड़ी पर भी रोक लगेगी। जिले में खाद-बीज की दर्जनों दुकानें हैं। कृषि विभाग की ओर से दुकानदारों को लाइसेंस दिया गया है। उन्हें निर्धारित दर पर खाद व बीज की बिक्री का निर्देश है, लेकिन कई दुकानदार इसका पालन नहीं करते। दुकानदार खाद की किल्लत होने पर निर्धारित से अधिक दर वसूलते हैं। वहीं मिलावटखोरी भी होती है। किसानों को इसकी शिकायत करने के लिए कृषि विभाग के दफ्तर जाना पड़ता था। उनकी परेशानी को देखते हुए कृषि विभाग ने कंट्रोल रूम बना दिया है। उसका नंबर 9415699547 और 9889104046 है। किसान इन नंबरों पर फोनकर दुकानदारों की शिकायत कर सकते हैं। विभाग त्वरित कार्रवाई करेगा। विभाग की पहल के बाद दुकानदारों पर शिकंजा कस गया है। यदि अधिक मुनाफे की लालच में दुकानदारों ने अनियमितता की तो उनके खिलाफ कार्रवाई तय है। लाइसेंस भी रद हो सकता है। खरीफ सत्र में 56 हजार टन से अधिक खाद की खपत
खरीफ सत्र में जिले में खाद की खपत 56,501 टन है। इसमें यूरिया 32,000, डीएपी 16,000, एमओपी दो हजार, एनपीके चार हजार, एसएसपी 2500 टन शामिल है। खाद वितरण के लिए 83 समितियां हैं। वहीं निजी दुकानदार भी लाइसेंस लेकर खाद की बिक्री करते हैं। कृषि विभाग को किसानों को गुणवत्तायुक्त खाद उपलब्ध कराने की कवायद में जुटा है।
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किसानों की सहूलियत के लिए कंट्रोल रूम बनाया गया है। यदि कहीं खाद का कोई दुकानदार गड़बड़ी कर रहा तो फोनकर सूचना दे सकते हैं। उसके खिलाफ त्वरित कार्रवाई की जाएगी।
बसंत कुमार दुबे, जिला कृषि अधिकारी

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