भाकियू ने 21 को किया शेरकोट में महापंचायत का ऐलान
मुआवजे की मांग को लेकर 27 दिनों से चल रहा है धरना किसानों के बीमार होने पर अफसरों न
जेएनएन, बिजनौर। नेशनल हाइवे के मुआवजे की मांग को लेकर 27 दिनों से किसानों का धरना चल रहा है। धरनारत पांच किसान बीमार भी हो गए थे। इसके बावजूद कोई अफसर धरनास्थल तक नहीं पहुंचा। इसके चलते अब भारतीय किसान यूनियन ने शेरकोट में ही 21 नवंबर को महापंचायत का ऐलान किया है। गुरुवार को धरनास्थल पर महापंचायत को लेकर चर्चा की गई तथा किसानों से भारी संख्या में भाग लेने का आह्वान किया गया।
हरिद्वार-नैनीताल नेशनल हाइवे के चौड़ीकरण के लिए भूमि अधिग्रहित की गई है। इसके बाद अभी तक तमाम किसानों, दुकानदारों व मकान स्वामियों को इसका उचित मुआवजा नहीं मिला है। इसके लिए इन लोगों ने अफसरों के कार्यालयों के चक्कर भी काटे, लेकिन समस्या का कोई समाधान नहीं हुआ। इसके चलते भारतीय किसान यूनियन के बैनर तले किसानों ने शेरकोट के मोहल्ला फतेहनगर में अनिश्चितकालीन धरना शुरू कर दिया था। गुरुवार को धरने को भी 27 दिन हो गए हैं, लेकिन समस्या कोई समाधान होता नहीं दिख रहा है। गुरुवार को स्योहारा के भाकियू ब्लाक अध्यक्ष गजेंद्र सिंह टिकैत भी धरनास्थल पर पहुंचे। उन्होंने 21 नवंबर को शेरकोट में ही महापंचायत का ऐलान किया है।
गजेंद्र सिंह टिकैत ने कहा कि धरने पर बैठे लोग बीमार हो रहे हैं। बुधवार को पीएचसी की टीम जांच करने पहुंची थी, लेकिन स्थानीय अधिकारियों को इससे कोई सरोकार नहीं है। अब भाकियू ने 21 नवंबर को धरना स्थल पर ही महापंचायत करने का निर्णय लिया है। जिला स्तर के पदाधिकारियों से इस पर चर्चा की गई है। उन्होंने जनपद के किसानों से इसमें भारी संख्या में भाग लेने का आह्वान किया है। इस अवसर पर राजेन्द्र सिंह टिकैत, दीपमाला देवी, सुशीला देवी, पूनम देवी, रीना, बीना, शांति देवी, त्रिवेन्द्र सिंह, राजीव विश्नोई, अशोक कुमार, योगेन्द्र सिंह, देवेंद्र अहलावत, वीरभान सिंह आदि उपस्थित रहे।