बस्ती: मदरसों में छिपकर दीनी तालीम ले रहे नेपाल के 100 छात्र, सूचना मिलते ही खुफिया एजेंसियां अलर्ट
उत्तर प्रदेश के मदरसों में नेपाल के लगभग 100 छात्रों के छिपकर दीनी तालीम लेने की सूचना मिलने से खुफिया एजेंसियां सतर्क हो गई हैं। इन छात्रों के बारे म ...और पढ़ें

गुपचुप रख कर दी जा रही सौ से ऊपर नेपालियों को धार्मिक तालीम।
स्कन्द कुमार शुक्ला, बस्ती। जनपद में संचालित प्रमुख मदरसों में नेपाली मुस्लिम छात्रों के अवैध रूप से दीनी तालीम लेने का बड़ा मामला सामने आया है, इसने सुरक्षा और खुफिया एजेंसियों के बीच हड़कंप मचा दिया है। जानकारी के अनुसार, ये छात्र लंबे समय से बिना किसी वैध पंजीकरण के धार्मिक शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं।
इस पूरे मामले का पर्दाफाश गृह मंत्रालय के निर्देश पर चलाए गए एक विशेष अभियान के दौरान हुआ। सूत्रों के अनुसार, जिले प्रमुख मदरसों में पढ़ रहे विदेशियों की जानकारी जुटाने के लिए सी फार्म डेटा की गहनता से जांच के बाद जिले में सौ से अधिक नेपाली छात्रों के यहां के एक प्रमुख मदरसे में बिना पंजीकरण के पढ़ाई करने का यह मामला सामने आया है।
अन्य मदरसे में भी नेपालियों के ठहरने व तालीम लेने की बात जांच में मिली है। भारत में आने वाले बाहरी लोगों के लिए सी फार्म एक अनिवार्य दस्तावेज होता है, जिसे किसी भी विदेशी नागरिक को ठहरने की सुविधा प्रदान करने वाला संस्थान या व्यक्ति स्थानीय पुलिस/फारेनर्स रीजनल रजिस्ट्रेशन ऑफिस ( एफआरआरओ) में जमा करता है।
इस डेटा के विश्लेषण में पाया गया कि बड़ी संख्या में विदेशी छात्रों की सूचना सी फार्म में दर्ज नहीं है। जिस आधार पर वह लोग भारत में प्रवेश किए, वह उन्हें धार्मिक संस्थानों में अध्ययन की अनुमति नहीं देता।
अब उन मदरसों के प्रबंधन पर भी कार्रवाई की तलवार लटकने लगी है, जिन्होंने सैकड़ो नेपाली छात्रों को आश्रय दिया और सरकारी नियमों की अनदेखी करते हुए उनका पंजीकरण नहीं कराया है। सुरक्षा एजेंसियां अब इस बात की भी जांच कर रही हैं कि क्या इस अवैध प्रवेश और अध्ययन के पीछे कोई राष्ट्र-विरोधी या सुरक्षा से जुड़ा कोई बड़ा षड्यंत्र तो नहीं है।
वीजा नियमों का गंभीर उल्लंघन
ज्यादातर विदेशी छात्र टूरिस्ट वी या अन्य श्रेणियों के तहत भारत आए थे, लेकिन वे धार्मिक अध्ययन में संलग्न पाए गए, जो भारतीय वीजा नियमों का घोर उल्लंघन माना जा रहा है। धार्मिक अध्ययन के लिए स्टडी वीजा लेना अनिवार्य होता है, जिसमें संस्थान का पंजीकरण भी आवश्यक होता है।
इसकी जानकारी होने के बाद पुलिस और खूफिया एजेंसिया हरकत में आ गया। अब इन छात्रों की पहचान कर उन्हें नोटिस जारी कर इनके लिए डिपोर्टेशन की प्रक्रिया शुरू की जा सकती है।
पुलिस अधिकारी का बयान
एक पुलिस अधिकारी नाम न छापने की शर्त पर बताया यह सुरक्षा के लिहाज से एक चूक है। जनपद मदरसों में विदेशी छात्रों के पंजीकरण और वीजा अनुपालन की नियमित जांच के लिए कड़े निर्देश दिए गए हैं। सी फार्म की जांच यह मामला सामने आया है। नियमों का उल्लंघन करने वाले मदरसा प्रबंधन के खिलाफ भविष्य में कड़ी कार्रवाई होगी। यह संवेदनशील मामला आंतरिक सुरक्षा से जुड़ा हुआ है।
विदेशी छात्रों के पढ़ने के संबंध में अभी दो माह पहले वाराणसी में मदरसे के सभी प्रबंधको की कार्यशाला आयोजित की गई थी, जिसमें साफतौर पर उन्हें बताया कि यदि मदरसे में धार्मिक शिक्षा के लिए विदेशी छात्र आते हैं तो अनिवार्य रूप से फार्म सी पर आनलाइन पंजीकरण कराया जाए। इसकी जानकारी विभाग को भी दें, यदि प्रबंधन की ओर से ऐसा नहीं पाया गया तो मदरसे पर कार्रवाई की जाएगी। नेपाल के छात्रों का बिना पंजीकरण पढ़ाई किए जाना का मामला संज्ञान में आया है। छानबीन की जा रही है। -प्रियंका अवस्थी, उपनिदेशक, अल्पसंख्यक कल्याण, बस्ती।

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