Bareilly News: स्मार्ट सिटी में ट्रैफिक लाइट सिस्टम हुआ धड़ाम, जाम से निजात दिलाने के लिए नहीं इंतजाम
अभी भी सभी चौराहों पर ट्रैफिक लाइटें नहीं लग पाई हैं जहां लगी हैं वहां खराब हो गई हैं। लाइटों से कहीं टाइमिंग सिस्टम खराब तो कहीं ट्रैफिक लाइट ही काम ...और पढ़ें

बरेली, जेएनएन। यूं तो शहर को स्मार्ट सिटी घोषित कर दिया गया। हर तरफ पार्किंग, सड़कें, ट्रैफिक सिस्टम से लेकर सरोवर तक स्मार्ट बनाने का दावा किया जा रहा है लेकिन दैनिक जागरण की पड़ताल में स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत लगे ट्रैफिक सिस्टम की सच्चाई खुलकर सामने आ गई। अभी भी सभी चौराहों पर ट्रैफिक लाइटें नहीं लग पाई हैं, जहां लगी हैं वहां खराब हो गई हैं। लाइटों से कहीं टाइमिंग सिस्टम खराब तो कहीं ट्रैफिक लाइट ही काम नहीं कर रहा। इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर (आइसीसीसी) के तहत 163 करोड़ रुपये के प्रोजेक्ट में इमरजेंसी काल बाक्स, सीसीटीवी, पब्लिक एड्रेस सिस्टम समेत 21 स्थानों पर ट्रैफिक लाइट भी लगाया गया है। फिर भी उनका लाभ शहरवासियों को नहीं मिल पा रहा है।
स्पाट - एक: समय दोपहर के सवा 12 बजे, शहर का प्रमुख चौकी चौराहा पर ट्रैफिक सिस्टम पूरी तरह बंद मिला। यहां कुछ ट्रैफिक पुलिसकर्मी तैनात मिले लेकिन वह भी तेज धूप होने की वजह से पेड़ की छांव में बैठे मिले। ट्रैफिक सिस्टम खराब होने से आए दिन यहां जाम की स्थिति बनी रहती है।
स्पाट- दो: दोपहर 12.40 बजे, ईंट पजाया ट्रैफिक सिस्टम भी बंद मिला। यहां रहने वाले संजय कुमार ने बताया कि ट्रैफिक लाइट काफी समय से खराब पड़ी है। कुछ समय पहले कुछ अधिकारी लोग आए थे लेेकिन वह जांच कर वापस चले गए। यहां पर भी आए दिन लोग हादसों का शिकार होते हैं।
स्पाट तीन: समय दोपहर के 12.55 बजे, डेलापीर तिराहे पर लगा ट्रैफिक सिस्टम भी बंद मिला। जबकि यहां तैनात यातायात पुलिसकर्मी व होमगार्डस भी सड़क किनारे खड़े होकर आराम करते दिखे। यहां आलम यह है कि आए दिन वाहन आपस में टकराने से लोग दुर्घटना का शिकार होते हैं।
स्पाट चार: समय दोपहर करीब 1.20 बजे, नगर निगम से करीब सौ मीटर दूरी पर स्थित पटेल चौक पर भी ट्रैफिक सिस्टम पूरी तरह बंद मिला। जबकि निगम व स्मार्ट सिटी के साथ प्रशासन के लोग भी लगातार इधर से गुजरते हैं। यहां के जेब्रा क्रासिंग भी गायब मिले।
163 करोड़ से हो रहा है काम: ईसीबी (इमरजेंसी काल बाक्स), आइटीएमएस (इंटीग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम), पीए (पब्लिक एड्रेसिंग सिस्टम), वीएमएस (वैरेबल मैसेज डिस्पले), एसबीडी (स्पीड वैलेशन डिडेक्शन), सीसीटीवी सर्विलांस सिस्टम जैसे प्रमुख काम कराए जा रहे हैं।
ट्रैफिक सिस्टम लगाने का फायदा: ट्रैफिक सिस्टम में रेड सिग्ननल होने पर वाहन को सड़क पर बनी स्टाप लाइन के पीछे खड़े करने पड़ते हैं। इससे भीड़ नियंत्रण के साथ सड़क हादसों व प्रदूषण में कमी आती है, साथ में बेहतर यातायात प्रबंधन से वाहनों में ईंधन भी कम लगता है। यहां से स्मार्ट ट्रैफिक मैनेजमेंट हर तरह के वीडियो, तस्वीरें व गतिविधियों को हाइटेक कैमरे के जरिए कैद करता है। यहां लगे रंग कोड (लाल, हरा, पीला) यातायात को संचालित करने में मदद करते हैं।
स्मार्ट सिटी कंपनी के सीईओ व नगर आयुक्त अभिषेक आनंद ने कहा कि इस संदर्भ में जानकारी हुई है। नगर आयुक्त से बातचीत कर समस्या का समाधान कराया जाएगा।- राम मोहन सिंह, एसपी ट्रैफिक- चौकी चौराहा और पटेल चौक पर अभी स्मार्ट ट्रैफिक लाइटें नहीं लगाई गई हैं। जल्द लाइटें वहां लगाई जाएंगी। वही, ईंट पजाया चौराहा और डेलापीर तिराहे की लाइटें सड़क चौड़ीकरण के चलते शिफ्ट होनी है। जल्द सभी ट्रैफिक लाइटें शुरू होंगी।

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