Barabanki News: फिर उफनाई सरयू, बाढ़ के पानी से घिरे आधा दर्जन गांव, नदी में समा रही किसानों की फसल
बाराबंकी में सरयू नदी का जलस्तर 12 सेंटीमीटर बढ़ने से बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है। तटीय इलाकों में कटाव से किसानों की फसलें नदी में समा रही हैं। बारिश के कारण खेतों में पानी भरने से सब्जी किसानों को भारी नुकसान हो रहा है। हेतमापुर क्षेत्र के कई गांवों में पानी घुसने से लोग पलायन कर रहे हैं।

जागरण संवाददाता, बाराबंकी। सरयू नदी फिर उफना गई है। जलस्तर बढ़ने लगा है। शुक्रवार को सरयू नदी का जलस्तर 12 सेंटीमीटर ऊपर पहुंच गया है। केंद्रीय जल आयोग के मुताबिक, शुक्रवार शाम पांच बजे जलस्तर 106.190 मीटर हो गया।
नदी का जलस्तर बढ़ने से ग्रामीणों की धुकधुकी बढ़ने लगी है। प्रशासन भी अलर्ट हो गया है। निचले इलाकों में बाढ़ का खतरा फिर से मंडराने लगा है। आसपास के गांवों में लोगों की निगाह नदी के पानी पर टिकी है। तटीय इलाकों में कटान से किसानों की फसल नदी में समा रही है।
बारिश से बढ़ी किसानों की समस्या
शुक्रवार को शहर सहित ग्रामीण इलाकों में बारिश हुई। तेज तो कहीं धीमी गति से बारिश हुई। जाटा बरौली, सफेदाबाद, सतरिख, रामसनेही घाट व पूरेडलई में बारिश हुई। मुहल्लों में जलभराव के साथ खेतों में पानी भर गया। किसानों की चिंता बारिश ने बढ़ा रही है। सर्वाधिक नुकसान सब्जी किसानों को हो रहा है। अगेती धान की फसल भी बारिश के कारण खेतों में गिर गई है।
सूरतगंज: बारिश और बैराज से छोड़े गए पानी के कारण सरयू नदी में गुरुवार रात जलस्तर बढ़ने से हेतमापुर क्षेत्र के आधा दर्जन गांव में पानी प्रवेश करने लगा। ग्रामीण अपने सामान और पशुओं को लेकर सुरक्षित स्थान की ओर पलायन कर रहे हैं।
शुक्रवार शाम तक करीब 30 परिवारों ने तटबंध पर शरण ले ली। सुंदरनगर, बलाईपुर, बेलहरी, क्योलीपुर, मदरसा, बाबापुरवा गांव बाढ़ के पानी से घिर चुके हैं। सबसे ज्यादा प्रभावित सुंदरनगर हुआ है।
गांव के राम कुमार और विजय कुमार ने बताया कि गुरुवार को नदी का जलस्तर स्थिर था, लेकिन सुबह नींद खुली तो घरों में पानी भरा हुआ था।
तहसीलदार विपुल सिंह ने बाढ़ प्रभावित गांवों का निरीक्षण कर राजस्व टीम को अलर्ट रहने और बाढ़ पीडितों की हर संभव सहायता के निर्देश दिए हैं।
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