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    मतांतरण का मास्टरमाइंड: छांगुर के करीबियों पर योगी सरकार का एक्शन, अवैध अतिक्रमण पर चला बुलडोजर

    Updated: Sat, 26 Jul 2025 11:38 AM (IST)

    बलरामपुर में मतांतरण कराने वाले जलालुद्दीन के करीबियों पर प्रशासन का शिकंजा कस रहा है। जलालुद्दीन के भतीजे सबरोज के घर पर बुलडोजर चल गया है। राजस्व विभाग ने जलालुद्दीन और उसके सहयोगियों की संपत्तियों का विवरण तलब किया था जिसमें अब तक 10 संपत्तियां चिह्नित की गई हैं। ये संपत्तियां 2020 और 2021 में खरीदी गई थीं। प्रशासन जल्द ही अवैध संपत्तियों के खिलाफ कार्रवाई करेगा।

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    जलालुद्दीन उर्फ छांगुर के भतीजे सबरोज के मकान पर चला बुलडोजर। जागरण

    जागरण संवाददाता, बलरामपुर। मतांतरण के मास्टरमाइंड जलालुद्दीन उर्फ छांगुर के भतीजे सबरोज के मकान पर अतंत: जिला प्रशासन ने बुलडोज़र चला दिया। कई थानों की पुलिस व पीएसी के साथ सबरोज के रेहरामाफी गांव में बने मकान को जेसीबी से गिराने की कार्रवाई की गई।

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    सबरोज ने नवीन परती की ज़मीन पर कब्बा करके भवन बनाया था। एसडीएम सत्यपाल प्रजापति ने बताया कि नवीन परती की ज़मीन पर बना मकान गिराया गया है। यह कार्रवाई नायब तहसीलदार प्रतिमा मौर्या की निगरानी में की गई है।

    राजस्व अधिकारी और कर्मचारी छांगुर, सहयोगी नीतू, नवीन व छांगुर के बेटे महबूब के नाम की संपत्तियों का विवरण एकत्र किया है।

    अब तक 10 संपत्ति चिह्नित की गई हैं। बताया जाता है की संपूर्ण विवरण मिलने के बाद अवैध संपत्तियों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की तैयारी है। इसे लेकर छांगुर के करीबियों की बेचैनी बढ़ गई है।

    आतंकवाद निरोधक दस्ता (एटीएस) की एफआइआर में छांगुर समेत 18 लोगों के नाम हैं। इसमें से आठ लोग गिरफ्तार हो चुके हैं। नौ की तलाश एटीएस कर रही है। इन सभी करीबियों की संपत्ति का भी डाटा एकत्र किया जा रहा है।

    इसके साथ ही उतरौला नगर और आसपास गांव में आवासीय प्लाटिंग करने वालों की भी कुंडली तैयार की जा रही है। इसमें भी छांगुर कनेक्शन की तलाश की जा रही है, क्योंकि छांगुर, नीतू, नवीन व महबूब का विदेशी फंडिंग से जमीन का कारोबार करने की बात सामने आई है।

    जांच एजेंसियों के इनपुट के आधार पर स्थानीय प्रशासन जमीन के कारोबार से जुड़े लोगों का पूरा विवरण जुटा रही है। इसमें कई कारोबारियों की पुलिस से अच्छी बनती है। उन पर भी नजर रखी जा रही है। छांगुर व सहयोगियों ने जो भी संपत्ति बनाई है, वह 2020 और 2021 में ही खरीदी गई है।

    उपजिलाधिकारी सत्यपाल प्रजापति ने बताया कि राजस्व कर्मियों से जमीन कारोबार से जुड़े लोगों का विवरण तैयार कराया जा रहा है। सबरोज के कब्जे से जमीन खाली कराने की प्रक्रिया चल रही है।

    अब तक 10 संपत्ति चिह्नित :

    अब तक जो संपत्ति मिली है, उसमें 2020 में नीतू के मधपुर में एक करोड़ 25 लाख रुपये में कृषि भूमि खरीदी थी। इसके बाद 2021 में चार संपत्ति लीं। इसमें नवीन के नाम से चांद औलिया मधपुर में 65 लाख, इसी गांव में 42 लाख, नीतू के नाम से उतरौला नगर के सुभाषनगर मुहल्ले में 64 लाख, लालगंज उतरौला में एक करोड़ 15 लाख रुपये में खरीदी थी।

    इसके साथ ही मधपुर, सुभाषनगर, मनकापुर मार्ग उतरौला, रेहरामाफी गांव में जमीन चिह्नित की गई है। कुल मिलाकर अब तक 10 संपत्ति उतरौला एवं आसपास मिली है। अन्य जिलों में भी खोज की जा रही है।