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    दाल हुई मुहाल, 25 रुपये किलो बढ़ा भाव

    By JagranEdited By:
    Updated: Thu, 01 Jul 2021 03:57 PM (IST)

    जागरण संवाददाता बैरिया (बलिया) दाल के भाव आसमान छूने लगे हैं। हरी सब्जियों के रेट पह

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    दाल हुई मुहाल, 25 रुपये किलो बढ़ा भाव

    जागरण संवाददाता, बैरिया (बलिया) : दाल के भाव आसमान छूने लगे हैं। हरी सब्जियों के रेट पहले ही बढ़े हैं, अब गरीबों की दाल चूल्हे पर गल नहीं रही है। ऐसे में हर के लोगों को दाल और सब्जी दोनों महंगे रेट में खरीदने की मजबूरी है। पिछले एक महीने में दाल के रेट में प्रति किलोग्राम 25 रुपये की वृद्धि दर्ज की गई है। आम लोग मानते हैं कि जनपद में दलहन की खेती कम होने और व्यापारियों की जमाखोरी के चलते दाल के भाव बढ़े हैं। --------------- बोले-ग्राहक-महंगाई पर नहीं लग रही लगाम -दाल व सब्जी दोनों महंगी हो चुकी है, ऐसे में रोटी व चावल के साथ रसोई में क्या बने, समझ में नहीं आ रहा है। सरकार को इस पर विचार करना चाहिए। विनोद सिंह

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    - दाल की महंगाई ने रसोई का स्वाद बिगाड़ दिया है। दाल की जमाखोरी के चलते भाव में उछाल आ गया है। सरकार को दाल का भाव नियंत्रित करना चाहिए। छोटे ठाकुर

    --दाल के भाव को सरकार को नियंत्रित करना चहिए, जमाखोरों पर नकेल नहीं कसने के कारण ऐसी स्थिति है। अभी भी सरकार गंभीर नहीं हुई तो हालात और बिगड़ेंगे। वीरपाल सिंह

    --दाल की महंगाई के कारण खरीदार आधे से भी कम हो गए हैं। फलस्वरूप दाल का व्यवसाय चौपट हो गया है। महंगाई कम करने के लिए सरकार को कोई विकल्प तलाशना चाहिए। अरुण कुमार ------------------------ दाल के भाव रुपये में दाल अब का भाव एक माह पहले अरहर दाल 110 85 चना दाल 80 60 मूंग दाल 120 100 मसूर दाल 80 60 उड़द दाल 130 100 -----वर्जन----- दाल के भाव बढ़ने के कई कारण हैं, पहले किसान दलहन खेती ज्यादा संख्या में करते थे, अब दलहन खेती कम हो गई है। ऐसे में बाहर के प्रदेशों से दाल आ रहे हैं जो महंगे पड़ रहे हैं। जमाखोरी के कारण भी दाल के भाव में उछाल है। संजय साह, व्यापारी