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    निर्वाण दिवस पर याद किए गए संत सुदिष्ट बाबा

    सुदिष्ट बाबा इंटर कालेज परिसर में मंगलवार को सुदिष्ट बाबा का निर्वाण दिवस परंपरागत तरीके से मनाया गया। इस अवसर पर आयोजित गोष्ठी को संबोधित करते हुए मुख्य अतिथि संत शिरोमणि विनय ब्रह्मचारी जी महाराज ने कहा कि संत का जीवन निर्मल जल के समान होता है। जो मानव, पशु, पक्षी, वनस्पति सभी को सुख पहुंचाता है। संत सुदिष्ट बाबा अपने काल खंड के ऐसे ही संत रहे है।

    By JagranEdited By: Updated: Wed, 19 Dec 2018 05:19 PM (IST)
    निर्वाण दिवस पर याद किए गए संत सुदिष्ट बाबा

    जागरण संवाददाता, बैरिया (बलिया): सुदिष्ट बाबा इंटर कालेज परिसर में मंगलवार को सुदिष्ट बाबा का निर्वाण दिवस परंपरागत तरीके से मनाया गया। इस अवसर पर आयोजित गोष्ठी को संबोधित करते हुए मुख्य अतिथि संत शिरोमणि विनय ब्रह्मचारी जी महाराज ने कहा कि संत का जीवन निर्मल जल के समान होता है। जो मानव, पशु, पक्षी, वनस्पति सभी को सुख पहुंचाता है। संत सुदिष्ट बाबा अपने काल खंड के ऐसे ही संत रहे है। आध्यात्मिक चेतना के साथ जनकल्याणकारी कार्यों के लिए भी लोगों को प्रेरित किए। गृहस्थ जीवन सबसे कठिन जीवन होता है लेकिन इसमें अपने आप पर स्वयं नियंत्रण के साथ किसी को पीड़ा पहुंचाने वाला कार्य करते रहना चाहिए।

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    संत शिरोमणि राम बालक दास जी महाराज ने कहा कि संत सुदिष्ट बाबा ने अपने जीवन में सबसे ज्यादा जन कल्याण का कार्य किए। धर्मशाला, रास्ते, पुल, शिवालय तथा यहां धनुषयज्ञ मेला के माध्यम से विवाह की परंपरा भी शुरू की। इस दौरान इंटर कालेज सुदिष्टपुरी, जमालपुर, पीजी कालेज सुदिष्टपुरी सहित आस पास के विद्यालयों के शिक्षक, समाजसेवी आदि ने गांवों में संत सुदिष्ट बाबा से संबंधित चर्चित स्मृतियों को दोहराते हुए उन्हें नमन किया। इस अवसर पर देवतानंद राय, डा. एके ¨सह, प्रेमशंकर ¨सह, श्रीराम ¨सह, रामजी राम, आलोक ¨सह, संतोष पांडेय, सुनील ¨सह, पवन कुमार सहित दर्जनों लोग उपस्थित थे। संचालन प्रधानाचार्य अशोक कुमार पांडेय तथा समस्त आगंतुकों के प्रति आभार सतीश कुमार ¨सह मन्नू ने व्यक्त किया।