गेहूं की फसल के लिए हानिकारक है गेहूंसा
सिकंदरपुर (बलिया) : कृषि विभाग की तरफ से क्षेत्र के नवानगर गांव में आयोजित कृषक गोष्ठी में गेहूं की उत्पादकता बढ़ाने के उपायों तथा कृषि कार्य हेतु दिये जाने वाले अनुदान आदि के बारे में कृषि विशेषज्ञों द्वारा विशेष जानकारी दी गयी। सहायक विकास अधिकारी कृषि अक्षयवरनाथ पांडेय ने नापेड कम्पोस्ट व वर्मी कम्पोस्ट के अधिकाधिक प्रयोग पर बल देते हुए जायद की फसलों के बारे में किसानों को जानकारी दी। जबकि टीए गौरी शंकर सिंह ने कृषि निवेश मिशन के तहत कृषि यंत्रों पर किसानों को दिए जाने वाले अनुदान के बारे में चर्चा कर उससे लाभ उठाने का आह्वान किया। कृषि विशेषज्ञ एसएन सिंह ने गेहूंसा खरपतवार से गेहूं के फसल को होने वाली हानि के बारे में विस्तार से चर्चा किया। साथ ही खेत में दिखाई देने पर उसे उखाड़ कर नष्ट कर देने का सुझाव दिया। बताया कि गेहूंसा की एक बाली में अधिकतम एक हजार तक बीज होते हैं जिसे नष्ट नहीं करने पर खेत में इसकी संख्या अगले वर्ष बढ़ कर गेहूं की फसल को नुकसान पहुंचाएगा। कहा कि जो किसान प्रमाणित अथवा फाउंडेशन बीज बोये हैं वह अपने खेत की बराबर निगरानी करते रहें। खेत में किसी अन्य प्रजाति का पौधा दिखाई पड़ने पर उसे उखाड़ कर नष्ट कर दें जिससे कि बीज की शुद्धता बनी रहे, तभी अगले साल प्रयोग करने पर अच्छा उत्पादन प्राप्त होगा। अंत में कृषि रक्षा पर्यवेक्षक श्यामबदन शर्मा ने धन्यवाद ज्ञापित किया।
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