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    'बुलडोजर को रोकिए, 70 साल पहले बने थे मकान... ' SDM से बोले ग्रामीण; यूपी में 40 मकानों तोड़ने का नोटिस जारी

    Updated: Tue, 12 Nov 2024 05:55 PM (IST)

    शिकोहपुर गांव में 40 मकानों को तालाब की जमीन पर बना बताकर तहसीलदार ने तोड़ने के लिए नोटिस जारी किया जिससे ग्रामीणों में हलचल मच गई। 60-70 साल पुराने म ...और पढ़ें

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    साहब! बुलडोजर को रोकिए...70 साल पहले बने थे मकान

    जागरण संवाददाता, बागपत। तहसीलदार के शिकोहपुर में 40 मकानों को तालाब की जमीन पर बने होने का हवाला देकर उन्हें ताेड़ने को नोटिस जारी करने से ग्रामीणों में खलबली मची है। लोगों ने एसडीएम से गुहार लगाई कि बुलडजोर चलाने से रोकिए...60-70 साल पहले बने थे मकान। मकान तोड़ गए तो खुले आकाश के तले रहने को मजबूर हो जाएंगे।

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    सोमवार को शिकोहपुर गांव की प्रधान उर्मिला देवी के प्रतिनिधि विपिन तोमर के नेतृत्व में दर्जनों ग्रामीण तहसील पहुंचे लेकिन तहसीलदार के नहीे मिलने से उन्होंने एसडीएम अविनाश त्रिपाठी को समस्या बताई।  ग्रामीणों ने बताया कि गत दिवस सुशील, संतलाल, रणधीर, गरीबदास, सूरजमल, सुभाष, बिसलाल, महेंद्र, सहंसरपाल, राजकुमार, वीरेंद्र, राजबीर, मिंटू भीम समेत 40 लोगों को नोटिस मिले।

    नोटिस में क्या था? 

    नोटिस में कहा गया कि उनके मकान तालाब की जमीन पर बने हैं। 22 नवंबर को मकान तोड़कर अवैध कब्जा नहीं हटाया तो तहसील प्रशासन मकानों को ध्वस्त कराएगा। ग्रामीणों ने कहा कि मकान तोड़ दिए गए तो हम कहां रहेंगे... हमारे ये मकान कोई नये नहीं बने हैं। 60 से 70 साल पुराने मकान है जिन्हें उनके बाप-दादा ने बनवाए थे।

    अब पता नहीं कहां से अचानक तालाब प्रकट हो गया जबकि यह जमीन तालाब की नहीं है। उन्होंने कहा कि अधिकांश परिवार अनुसूचित जाति के जो बेहद गरीब हैं और छोटे-छोटे मकान हैं। मकानों को तोड़ा गया तो हमें बच्चों समेत खुले आसमान तले रहना पड़ेगा, क्योंकि कहीं जमीन खरीदकर नया मकान बनाने की क्षमता हमारे में नहीं है।

    एसडीएम ने कहा कि तालाब पर बने मकानों की किसी शिकायत की है। तहसलीदार ने अब धारा 67 की कार्रवाई के तहत नोटिस जारी किए हैं। वे तहसीलदार कोर्ट में अपना वाद दायर कर वकील के माध्यम से अपना जवाब पेश करें। किसी के साथ ज्यादती नहीं होगी।

    मकानों पर बुलडोजर चलने के बाद खुले आकाश तले गुजारी रात

    चांदीनगर: एक अन्य मामले में खट्टा प्रहलादपुर में प्रशासन द्वारा गिराए गये मकान मालिकों ने खुले में रात गुजारी। उन्होंने सीएम पोर्टल पर शिकायत कर मकान बनवाने की गुहार लगाई। वही पुलिस ने तीन लोगों का शांतिभंग होने की आशंका में चालान किया है।

    शनिवार को राजस्व विभाग की टीम ने खट्टा प्रहलादपुर में खसरा संख्या 2399 में अवैध रूप से बने मानसिंह, फूलसिंह, चरणसिंह, संजू और ओमवती के मकान को गिराया था। तब एक युवक ने विरोध में फांसी लगाने का प्रयास किया था। कई महिलाएं बेहोश हो गईं थी।

    मकान मालिकों का कहना है कि जिसे प्रशासन ग्राम समाज की भूमि बता रहा है उस जमीन पर वर्ष 1965 से उनके बुजुर्ग रहते आ रहे है बताया कि उन्होंने डीएम जितेंद्र प्रताप सिंह के यहां याचिका लगाई थी उसके बाद भी उनके मकान गिरा दिए गए आरोप है कि कब्जा हटाने के दौरान पुलिस ने उनपर लाठियां बरसाई जिससे कई लोग चोटिल हो गए।

    खट्टा प्रहलादपुर में प्रशासन द्वारा गिराए गये मकानों के मलबे पर बैठे स्वजन

    मकान टूट जाने और अन्य मकान न होने के कारण लोगो ने पूरी रात खुले आसमान के नीचे रात गुजारी उनके मवेशी भी इधर उधर भटक रहे है बताया कि खाने का सामान मलबे में दब जाने से उनके बच्चे भी भूखे प्यासे है अब उन्होंने ने मुख्यमंत्री पोर्टल पर शिकायत कर मकान बनवाने की गुहार लगाई है।

    प्रशासन की टीम का विरोध करने के दौरान फांसी लगाने का प्रयास करने वाले राकेश व दो अन्य विकास और पवन का पुलिस ने शांतिभंग होने की आशंका में चालान किया है थाना प्रभारी संजय सिंह का कहना है कि चूंकि उक्त तीनों राजस्व विभाग की टीम की कार्यवाही का विरोध कर रहे थे उससे शांतिभंग होने की संभावना बन रही थी इसलिए तीनों का चालान किया गया है।