Dehradun Cloudburst: देहरादून में ही होगा पंकज का अंतिम संस्कार, बादल फटने से नदी में बहे रहरा के 3 मजदूर
देहरादून में बादल फटने से रहरा के मजदूर पंकज की नदी में डूबकर मृत्यु हो गई। उनका अंतिम संस्कार देहरादून में ही किया जाएगा क्योंकि उनका परिवार पिछले 20 वर्षों से वहीं रहता है। पोस्टमार्टम के बाद साथी मजदूरों ने पंकज का अंतिम संस्कार करने से पहले लापता मजदूरों को ढूंढने की मांग की है। दो अन्य मजदूरों पीतम और पुष्पेंद्र का अभी तक कोई पता नहीं चला है।

जागरण संवाददाता, हसनपुर/अमरोहा। उत्तराखंड के देहरादून में बादल फटने से नदी में डूबकर मरे रहरा के मजदूर पंकज का अंतिम संस्कार देहरादून में ही किया जाएगा। पोस्टमार्टम के बाद साथी मजदूरों ने पंकज का अंतिम संस्कार करने से पहले गायब मजदूरों को तलाशने की मांग की है। पंकज की पत्नी और परिवार करीब 20 वर्ष से देहरादून में ही रहता है।
सोमवार रात वहां बादल फटने से नदी में भयंकर बाढ़ आ गई थी। मंगलवार सुबह 5:30 बजे नदी से बजरपुट निकलते हुए 27 वर्षीय पंकज, 18 वर्षीय पीतम सिंह और 21 वर्षीय पुष्पेंद्र कुमार निवासी रहरा नदी में बह गए थे। इनमें से 27 वर्षीय पंकज का गढ़ी कैंट थाना क्षेत्र में शव बरामद हो गया था। लेकिन, अन्य दोनों मजदूरों का भी कोई सुराग नहीं लग सका है।
बादल फटने के बाद नदी में बह गए थे रहरा के तीन मजदूर
स्वजन और रिश्तेदार मंगलवार को ही देहरादून पहुंच गए थे। गांव के करीब सौ मजदूर अपने परिवारों के साथ वहीं पर रहते हैं। इसलिए, वहीं पर पंकज का अंतिम संस्कार किया जाएगा। उधर नदी में बहे दो अन्य मजदूर पीतम और पुष्पेंद्र का दूसरे दिन बाद भी कोई सुराग नहीं लग सका है। गांव के मजदूर की मृत्यु होने से देहरादून में काम करने वाले सभी मजदूर फिलहाल वहीं रुके हुए हैं।
लापता मजदूरों की तलाश करने की मांग
ग्राम प्रधान पति नन्हे सिंह भी मजदूरों के नदी में बहने की सूचना पर देहरादून पहुंच गए थे। वह मजदूरों से काम करने वाले ठेकेदार और प्रशासन से नदी में डूबे मजदूरों की तलाश कर रहे हैं। प्रधान पति नन्हे सिंह ने बताया कि पंकज का अंतिम संस्कार करने से पहले गायब मजदूरों को तलाश करने की मांग साथी मजदूरों ने रखी है।
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