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    Prayagraj 4 वर्ष का हो गया है, वर्ष 2018 के अक्‍टूबर में योगी सरकार ने बदला था Allahabad का नाम

    By Jagran NewsEdited By: Brijesh Srivastava
    Updated: Tue, 18 Oct 2022 03:55 PM (IST)

    प्रयागराज का नाम पड़ते ही जिले में विकास कार्यों की झड़ी लग गई थी। शहर के चौराहों से लेकर सड़कों का सुंदरीकरण चौड़ीकरण का काम हुआ। फ्लाईओवर रेलवे ओवर ब्रिज बनाए गए। इसी चार साल में शहर स्मार्ट घोषित हुआ। सिविल एयरपोर्ट की सौगात मिली।

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    योगी आदित्यनाथ सरकार ने अक्टूबर 2018 में इलाहाबाद का नाम बदलकर प्रयागराज किया था। तब से विकास कार्य काफी हुए।

    प्रयागराज, जागरण संवाददाता।  जिले का नाम प्रयागराज अक्टूबर 2018 में रखा गया था। भाजपा सरकार ने इलाहाबाद से बदलकर जनपद का नाम प्रयागराज रखा था। योगी आदित्‍यनाथ सरकार की कैबिनेट ने इसकी मंजूरी दी थी। अब प्रयागराज चार वर्ष का हो गया है। इन चार वर्षों में जिले की सूरत बदल गई है। इसी चार वर्षों के बीच में दिव्य-भव्य कुंभ का आयोजन हुआ। आइए जानें इलाहाबाद से प्रयागराज बनने का अब तक का सफर।

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    नाम बदलते ही प्रयागराज में विकास कार्यों की लग गई झड़ी : प्रयागराज का नाम पड़ते ही जिले में विकास कार्यों की झड़ी लग गई थी। शहर के चौराहों से लेकर सड़कों का सुंदरीकरण, चौड़ीकरण का काम हुआ। फ्लाईओवर, रेलवे ओवर ब्रिज बनाए गए। इसी चार साल में शहर स्मार्ट घोषित हुआ। सिविल एयरपोर्ट की सौगात मिली। प्रयाग संगम नया रेलवे स्टेशन मिला। प्रयागराज जंक्शन समेत अन्य स्टेशनों का विकास और विस्तार हुआ। प्रयागराज से कई बड़े शहरों के लिए फ्लाइट चलने लगीं। प्रयागराज से होकर कई नई ट्रेनें चलने लगीं।

    शहर से लेकर गांवों तक चकाचक मार्ग : गांव और गलियों से लेकर संपर्क मार्गों के साथ ही हाईवे बनाए गए। रीवा, मीरजापुर. चित्रकूट-बांदा, जौनपुर, प्रतापगढ़-अयोध्या, लखनऊ, कानपुर, कौशांबी, सिंगरौली हाईवे के विस्तार व विकास पर लगभग नौ हजार करोड़ रुपये खर्च किए गए।

    तब से अब तक 22 हजार करोड़ रुपये विकास कार्यों में हुए खर्च : जिले का नाम जिस वर्ष बदला गया, उसी वर्ष 15 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा धन विकास कार्यों में खर्च हुआ था। नाम बदलने से अब तक लगभग 22 हजार करोड़ रुपये खर्च किए गए हैैं। किले में कैद अक्षयवट आमजन के दर्शन सुलभ हुआ तो द्वादश माधव का भी विकास हुआ।

    शहर का 56 वर्ग किमी बढ़ा दायरा : इन चार वर्षों में प्रयागराज नगर निगम का दायरा लगभग 56 वर्ग किमी बढ़ गया। नगर निगम इलाहाबाद में 80 वार्ड थे तो प्रयागराज नगर निगम में 100 वार्ड हो गए।