RTO: अब गाड़ी खरीदते ही पता चल जाएगा रजिस्ट्रेशन नंबर, कल से लागू हो रही यह व्यवस्था
10 सितंबर से डीलर के पास ही नई जिम्मेदारी रहेगी। पोर्टल पर वाहन खरीदने वाले ग्राहक का पंजीयन शुल्क और रोड टैक्स जमा होते ही इंश्योरेंस के साथ ग्राहक के सभी कागज अपलोड करेगा ग्राहक के मोबाइल फोन पर इसका संदेश जाएगा। ग्राहक को उसकी गाड़ी का नंबर मिल जाएगा।
प्रयागराज, जागरण संवाददाता। मौजूदा समय में ग्राहकों को वाहन खरीदने के बाद कई दिन या हफ्ते तक रजिस्ट्रेशन नंबर नहीं मिल पाता है। डीलर को कई बार फोन करना पड़ता है या आरटीओ कार्यालय का चक्कर भी लगाना होता है। अब उन्हेंं परेशान नहीं होना पड़ेगा। वाहन खरीदते ही ग्राहक को उसकी गाड़ी का नंबर पता चल जाएगा। इसका संदेश उसके मोबाइल फोन पर भी आएगा। एक सप्ताह के भीतर ग्राहक को हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट (एचएसआरपी) भी मिल जाएगी। यह ग्राहकों के लिए एक बड़ी राहत की बात है।
बदलेगी व्यवस्था और दूर होगी समस्या
अभी ग्राहक जब गाड़ी खरीदते हैं तो उनके सभी कागज डीलर के पास से आरटीओ कार्यालय भेजा जाता है। जांच के बाद ग्राहकों को गाड़ी का नंबर मिलता है। 10 सितंबर से डीलर के पास ही नई जिम्मेदारी रहेगी। जैसे ही वह पोर्टल पर वाहन खरीदने वाले ग्राहक का पंजीयन शुल्क और रोड टैक्स जमा करेगा। इंश्योरेंस के साथ ग्राहक के सभी कागज अपलोड करेगा, वैसे ही ग्राहक के मोबाइल फोन पर इसका संदेश जाएगा। ग्राहक को उसकी गाड़ी का नंबर मिल जाएगा। वही संदेश एचएसआरपी बनाने वाली एजेंसी को भी चला जाएगा। परिवहन विभाग का दावा है कि गाड़ी खरीदने के हफ्तेभर में ग्राहक को एचएसआरपी मिल जाएगी। इसके बाद लोगों को नंबर के लिए परेशान नहीं होना पड़ेगा।
आज तक पूरी हो जाएगी प्रक्रिया
आरटीओ कार्यालय ने सभी डीलरों को पत्र भेजकर नौ सितंबर तक वाहनों संबंधी सभी प्रपत्रों को अपलोड कराने का निर्देश दिया गया है। ताकि 10 सितंबर से नई व्यवस्था को शुरू किया जा सके।
एआरटीओ ने यह बताया
पंजीयन की व्यवस्था को और पारदर्शी बनाने के लिए व्यवस्था में यह बदलाव किया गया है। डीलरों की जिम्मेदारी बढ़ाई गई है। इससे नंबरों को लेकर लोगों की मनमानी नहीं चलेगी। अगर किसी चीज की शिकायत आएगी तो उसका शीघ्र निस्तारण किया सकेगा।
- सियाराम वर्मा, एआरटीओ (प्रशासन)