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    बीमारी से पहले आपको आगाह कर देगा नैनो सेंसर Prayagraj News

    By Brijesh SrivastavaEdited By:
    Updated: Fri, 20 Dec 2019 10:06 PM (IST)

    नैनो सेंसर इंसान के शरीर में लगाया जाएगा। इसके बाद उसे मोबाइल एप से जोड़कर इंटरनेट के जरिए शरीर के भीतर के बारे में जानकारी जुटाई जाएगी। इससे बीमारी की पूर्व में ही सूचना मिलेगी।

    बीमारी से पहले आपको आगाह कर देगा नैनो सेंसर Prayagraj News

    प्रयागराज,जेएनएन । अब आपको बीमार होने से पहले बीमारी के बारे में आसानी से जानकारी मिल सकेगी। साथ ही बीमार होने के बाद आपको दवाएं खाने की आवश्यकता भी नहीं पड़ेगी। आपको यह थोड़ा अटपटा जरूर लगा रहा है, लेकिन इसे सच साबित कर दिखाया है झलवा स्थित भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान (ट्रिपलआइटी) ने।

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    नैनो सेंसर से पहले ही मिल जाएगी बीमारी की जानकारी

    दरअसल, संस्थान में वॉयरलेस सेंसर नेटवर्क प्रयोगशाला का उद्घाटन किया। इस दौरान इंटरनेट आफ थिंग्स विषयक दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया। संस्थान के निदेशक प्रो. पी नागभूषण ने बताया कि नैनो सेंसर इंसान के शरीर में लगाया जाएगा। इसके बाद उसे मोबाइल एप से जोड़कर इंटरनेट के जरिए शरीर के भीतर के बारे में जानकारी जुटाई जाएगी। इससे बीमारी के बारे में पूर्व में ही सूचना मिल सकती है। इसके अलावा सेंसर की मदद से इंसान को दवा खाने की भी आवश्यकता नहीं पड़ेगी।

    सेंसर से शरीर में पहुंचेगी दवा

    सेंसर के जरिए दवाओं को शरीर के मलाशय से निश्चित स्थान तक पहुंचाया जा सकेगा। उन्होंने बताया कि मुंह से दवा जाने से शरीर के कई अंग प्रभावित होते हैं। मलाशय के माध्यम से इन अंगों को कुप्रभाव से बचाया जा सकेगा। उन्होंने कहाकि इंटरनेट ऑफ थिंग्स के कारण स्वास्थ्य, सुरक्षा, व्यवसाय संचालन, औद्योगिकी प्रदर्शन और वैश्विक पर्यावरण और मानवीय मुद्दों में कई सकारात्मक बदलाव आया है। वर्तमान में वायरलेस संचार की दुनिया में इंटरनेट ऑफ थिंग्स ने व्यापक लोकप्रियता हासिल की है। इस अवधारणा ने ई-कॉमर्स, ई-हेल्थ, ई-एग्रीकल्चर, ई-इंडस्ट्री इत्यादि जैसे नए क्षेत्र उभरे हैं। कार्यशाला समन्वयक एवं कार्यवाहक कुलसचिव प्रो. शिर्षू वर्मा ने वायरलेस सेंसर नेटवर्क (डब्ल्यूएसएन) प्रयोगशाला की स्थापना के विषय में जानकारी देते हुए कहा कि प्रयोगशाला सूचना प्रौद्योगिकी विभाग और इंडो कोरिया रिसर्च परियोजना की एक पहल के रूप में थी।

    चल रहे शोध कार्यों के बारे में दी जानकारी

    वायरलेस सेंसर नेटवर्क प्रयोगशाला का उद्देश्य तकनीकी विशेषज्ञता का निर्माण करना और वायरलेस संचार और इंटरनेट आफ थिंग्स में उद्यमिता की संस्कृति को बढ़ावा देना है। अधिष्ठाता प्रो. शेखर वर्मा ने बताया कि मरीजों को आज अधिक व्यक्तिगत बातचीत के साथ अनुकूलित उपचारों की उम्मीद बढ़ी है। आइटी के विभागाध्यक्ष डॉ. विजेंद्र सिंह ने विभाग में चल रहे दर्जनों शोध कार्यों के बारे में जानकारी दी। धन्यवाद आयोजक सचिव डॉ. सतीश कुमार सिंह ने किया।

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