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    UP News: रनिंग करते समय आठवीं के छात्र की हार्ट अटैक से मौत, स्कूल में होने वाली प्रतियोगिता में लेना था भाग

    Updated: Sun, 01 Dec 2024 07:50 AM (IST)

    एक दुखद घटना में छर्रा के एक आठवीं कक्षा के छात्र की दौड़ के दौरान हार्ट अटैक से मृत्यु हो गई। वह अपने स्कूल में होने वाली प्रतियोगिता की तैयारी कर रहा था। इस घटना ने पूरे क्षेत्र में शोक की लहर फैला दी है। इस लेख में हम इस दुखद घटना के बारे में विस्तार से बताएंगे और युवाओं में हार्ट अटैक के बढ़ते मामलों पर भी चर्चा करेंगे।

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    प्रस्तुति के लिए इस्तेमाल की गई तस्वीर

    संवाद सूत्र, छर्रा। गांव के बच्चों के साथ दौड़ लगाने गए गांव सिरौली के छठवीं के छात्र की हार्ट अटैक से मृत्यु हो गई। दौड़ते समय वह अचेत हो कर गिर गया। स्वजन उसे अस्पताल ले गए, जहां डाक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। चिकित्सकों का मानना है कि हार्ट अटैक से किशोर की जान चली गई। सोमवार को उसे स्कूल में आयोजित खेल प्रतियोगिता में भाग लेना था। यह सनसनीखेज घटना शुक्रवार सुबह हुई।

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    14 वर्षीय मोहित चौधरी रामपुर के ही एक निजी विद्यालय में छात्र था। वह दो भाइयों में बड़ा था। सोमवार को स्कूल के वार्षिकोत्सव में खेल प्रतियोगिताएं होनी हैं। किशोर ने दौड़ में भाग लिया था। उसकी तैयारी के लिए शुक्रवार को वह गांव के बच्चों के साथ दौड़ लगाने गया था। दौड़ते समय वह बेहोश होकर गिर पड़ा।

    स्वजन के अनुसार बालक पूरी तरह स्वस्थ था। उसके पिता की करीब चार माह पहले सड़क हादसे में मृत्यु हो गई थी। बच्चे की मृत्यु से परिवार में कोहराम मच गया।

    युवाओं को बिना बीमारी के हार्ट अटैक और पेट की बीमारी जैसे लक्षण

    युवा सीने में दर्द, पसीना आना, धड़कन बढ़ना, एसिडिटी और कब्ज सहित पेट की गंभीर बीमारी के साथ चिकित्सकों के पास पहुंच रहे हैं। जांच में ह्रदय रोग, हार्ट अटैक और पेट की बीमारी की पुष्टि नहीं हो रही है। मगर, लक्षण ठीक नहीं हो रहे हैं।

    ऐसा साइकोसोमेटिक डिसआर्डर के कारण हो रहा है। तनाव, असुरक्षा की भावना और और इंटरनेट मीडिया पर आने वाले वीडियो के कारण दिमाग और शरीर के बीच का संतुलन गड़बड़ाने से यह समस्या होती है।

    शनिवार को मानसिक स्वास्थ्य संस्थान में क्लीनिकल साइकोलाजी और हिंदुस्तान इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट एंड कंप्यूटर स्टडी द्वारा आयोजित गोष्ठी में साइकोसोमेटिक डिसआर्डर पर चर्चा की गई।

    मुख्य वक्ता वरिष्ठ फिजीशियन डा. अरविंद जैन ने बताया कि बड़ी संख्या में युवा सीने में दर्द, गैस, एसिडिटी की समस्या के साथ ही सिर दर्द की समस्या के साथ आते हैं। इन्हें हार्ट अटैक, ह्रदय रोग, पेट की बीमारी, कैंसर होने का भय रहता है। जांच में कोई बीमारी नहीं मिलती है, लेकिन लक्षण ठीक नहीं होते हैं।

    वरिष्ठ अस्थि रोग विशेषज्ञ डा. अशोक विज ने बताया कि सर्वाइकल का दर्द सीने तक पहुंचता है, इसे लोग हार्ट अटैक का दर्द समझते हैं और बार-बार चिकित्सक के पास जाते हैं।

    हीलिंग विशेषज्ञ डा. बीएल दुबे ने बताया कि इस तरह के केस में काउंसिलिंग के साथ ही कुछ दवाएं दी जाती हैं, इससे लक्षण खत्म हो जाते हैं। हिंदुस्तान इंस्टीट्यूट आफ मैनेजमेंट एंड कंप्यूटर स्टडी के निदेशक डा. नवीन गुप्ता, डा. विजय पाठक आदि मौजूद रहे।

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