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    AMU के इस लड़के ने डॉ आरिफ को कानपुर में दिलाया था कमरा, यूनिवर्सिटी पर टिकी सुरक्षा एजेंसियों की निगाह

    Updated: Sun, 16 Nov 2025 06:54 AM (IST)

    अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) के एक छात्र द्वारा डॉक्टर आरिफ को कानपुर में कमरा दिलाए जाने की बात के बाद सुरक्षा एजेंसियां सतर्क हो गई हैं। अब एजेंसियां इस मामले की गहराई से जांच कर रही हैं। अब वो पता लगा सकती हैं कि डॉक्टर आरिफ का एएमयू के उस लड़के से क्या संबंध था।

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    जागरण संवाददाता, अलीगढ़। अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय छात्र डा. यासिर हुसैन के दिल्ली विस्फोट मामले में कानपुर से पकड़े गए डा. आरिफ मीर के करीबी होने के चलते सुरक्षा एजेंसियों की निगाहें अलीगढ़ पर टिक गई हैं। सुरक्षा एजेंसी सभी पहलुओं की जांच कर रही हैं। वहीं शनिवार को एएमयू में पूरे दिन इसी मामले की चर्चा रही।

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    डा. यासिर हुसैन एएमयू के जेएन मेडिकल कालेज में एमडी कार्डियोलाजी का छात्र है। जुलाई में ही उसने दाखिला लिया था। सिविल लाइन क्षेत्र में वह रहता है। यासिर ने ही आरिफ को कानपुर के अशोकनगर में किराए पर कमरा दिलाया था। खुद सवा महीने कानपुर रुकने के बाद जेएन मेडिकल कालेज आ गया। इस खुलासे के बाद एजेंसियां अब यासिर का विवरण जुटाने में लगी हैं। आरिफ मीर को दिल्ली धमाके में आतंकी उमर का सहपाठी होने के चलते हिरासत में लिया गया है।

    एलपीएस कार्डियोलॉजी इंस्टीट्यूट में मिला था प्रवेश 

    डा. यासिर हुसैन को नीट-सुपर स्पेशियलिटी की पहली काउंसिलिंग में कानपुर की एलपीएस कार्डियोलॉजी इंस्टीट्यूट में प्रवेश मिला था, लेकिन दूसरी काउंसिलिंग में उसने अलीगढ़ विकल्प दे दिया। कार्डियोलाजी से मिली जानकारी के मुताबिक डा. यासिर कार्डियोलाजी में एक-सवा महीना ही रहा है।

    फ्लैट में आरिफ के साथ रहने वाले डा. अभिषेक ने बताया कि डा. यासिर ने ही अशोकनगर के फ्लैट में डा. आरिफ को कमरा दिलाने के लिए कहा था। खुफिया एजेंसियां डा. यासिर का भी ब्योरा जुटा रही हैं। कार्डियोलॉजी में उसके उपलब्ध ब्योरे को सुरक्षित कर लिया गया है। इस जानकारी के बाद जांच एजेंसियों की निगाहें अलीगढ़ पर टक गई हैं। टीम एक-दो दिन में अलीगढ़ भी आ सकती हैं।


    कश्मीरी छात्रों को बिना सूचना के कैंपस न छोड़ने की सलाह

    यूनिवर्सिटी इंतजामिया ने कश्मीरी छात्रों को बिना सूचना के कैंपस न छोड़ने की मौखिक सलाह दी है। एएमयू में दो सौ से अधिक कश्मीरी छात्र पढ़ रहे हैं। आतंकी उमर के सहपाठी आरिफ के करीबी यासिर नाम के युवक का नाम जुड़ने के बाद खुफिया टीम यासिर के साथ-साथ अलीगढ़ में एक-एक कश्मीरी का विवरण जुटाने में लग गई हैं। उनकी आवाजाही से लेकर उनके संपर्कों व गतिविधियों तक का विवरण जुटाया जा रहा है।

    इनका कहना है?

    जेएन मेडिकल कालेज के कार्डियोलाजी विभाग में यासिर नाम का पंजीकृत है। इस विभाग में केवल चार सीटें हैं। यासिर के बारे में किसी एजेंसी ने संपर्क नहीं किया है और न कोई जानकारी मांगी गई है। जानकारी मांगी जाती है तो पूरा सहयोग करेंगे। - प्रो. वसीम अली प्रॉक्टर एएमयू