फर्जी शस्त्र लाइसेंस केस: आगरा जेल में मुख्तार अंसारी के कनेक्शन की जांच में STF, मिल रहीं गोपनीय सूचनाएं
एसटीएफ आगरा सेंट्रल जेल में मुख्तार अंसारी के 11 साल के कार्यकाल के दौरान उसके संपर्कों की जांच कर रही है। फर्जी शस्त्र लाइसेंस मामले में दर्ज मुकदमे के तहत एसटीएफ मुख्तार के संभावित संबंधों की पड़ताल कर रही है खासकर मोहम्मद जैद के साथ। शोभित चतुर्वेदी की पत्नी ने सामाजिक छवि धूमिल करने के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है।

जागरण संवाददाता, आगरा। फर्जी शस्त्र लाइसेंस और अवैध शस्त्र मामले में एसटीएफ ने साक्ष्य संकलन शुरू कर दिया है। शुक्रवार को एसटीएफ ने सेंट्रल जेल से मुख्तार अंसारी के मुलाकातियों के बारे में जानकारी जुटाई।मुख्तार सेंट्रल जेल में 11 वर्ष बंद रहा था। उस समय उसके संपर्क में कौन-कौन रहे थे। इसकी भी जानकारी की जा रही है।
फर्जी शस्त्र लाइसेंस मामले में एसटीएफ के इंस्पेक्टर यतींद्र शर्मा ने 24 मई को थाना नाई की मंडी में धोखाधड़ी, कूट रचित दस्तावेज तैयार करने और आयुध अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कराया था। इसमें नेशनल शूटर मोहम्मद अरशद, कालीन कारोबारी मोहम्मद जैद खान, प्रापर्टी डीलर भूपेंद्र सारस्वत, राजेश बघेल, शिव कुमार सारस्वत, टीवी चैनल पत्रकार शोभित चतुर्वेदी और शस्त्र लिपिक संजय कपूर नामजद हैं।
एसटीएफ की जांच में मोहम्मद जैद के संबंध मुख्तार से होने की आशंका जताई गई है। अब इस मुकदमे की विवेचना एसटीएफ ही कर रही है। आरोपितों के खिलाफ एसटीएफ मजबूत साक्ष्य जुटा रही है। मऊ का कुख्यात मुख्तार अंसारी वर्ष 1999 से 2010 तक सेंट्रल जेल में बंद रहा था। 1999 में उसकी बैरक की चेकिंग के दौरान बुलटप्रूफ जैकेट और मोबाइल मिला था।
एसटीएफ अब जेल के रिकॉर्ड से यह जानने का प्रयास कर रही है कि उस समय जेल में उससे मुलाकात करने कौन-कौन आता था। मोहम्मद जैद या उसके रिश्तेदार मुख्तार से मिलने गए थे या नहीं? एसटीएफ को मुख्तार अंसारी से जैद के संबंधों की गोपनीय सूचनाएं भी मिल रही हैं। इनकी भी टीम पुष्टि कर रही है।
शोभित की पत्नी ने लिखाया मुकदमा
फर्जी शस्त्र लाइसेंस कांड को लेकर एक रितु शर्मा नाम से बनी आइडी से तमाम तरह की टिप्पणी की जा रही थीं। इस आइडी के खिलाफ शोभित चतुर्वेदी की पत्नी ज्योति चतुर्वेदी ने मुकदमा दर्ज कराया है। साइबर क्राइम थाने में दर्ज मुकदमे में आरोप लगाया है कि उनके पति की फोटो लगाकर सामाजिक छवि धूमिल की जा रही है। साइबर क्राइम थाने में तहरीर के अनुसार आइटी एक्ट की धारा 66 लगाई गई है। इस मुकदमे में वेबाक आवाज आइडी का भी जिक्र है। इस मुकदमे में वादी ने अपने पति की जान को षड़यंत्रकारियों से जान का खतरा भी जताया है।
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