Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    UP Crime: मथुरा जेल में परिवार के सात लोगों की हत्या की गुनहगार शबनम को दी जाएगी फांसी, बक्सर में बन रहा फंदा

    By Tanu GuptaEdited By:
    Updated: Wed, 17 Feb 2021 02:21 PM (IST)

    मेरठ के जल्लाद पवन ने मथुरा जेल का किया निरीक्षण। प्रेमी संग परिवार के सात लोगों को मौत के घाट उतारने वाली शबनम है रामपुर की जेल में बंद। अमरोह के बावनखेड़ी गांव का है मामला। 14 अप्रैल को 2008 को की थी हत्या।

    Hero Image
    प्रेमी संग परिवार के सात लोगों को मौत के घाट उतारने वाली शबनम है रामपुर की जेल में बंद।

    आगरा, जेएनएन। अमरोहा के बावनखेड़ी गांव में माता-पिता समेत परिवार के सात सदस्यों की प्रेमी संग मिलकर हत्या करने की गुनहगार शबनम के लिए जिला कारागार का फांसीघर तैयार है। जेल प्रशासन ने मेरठ से जल्लाद को बुलाया था। पिछले साल मार्च में फांसीघर का निरीक्षण करने आया था। गुनहगार को फांसी पर लटकाने के लिए बक्सर से मनीला सन के फंदे वाले दो रस्सा मंगाए गए हैं।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    अमरोहा जिले के बावनखेड़ी गांव निवासी शबनम ने 14 अप्रैल 2008 की रात अपने प्रेमी सलीम के साथ मिलकर माता-पिता और मासूम भतीजे समेत परिवार के सात लोगों का कुल्हाड़ी से गला काट कर मौत की नींद सुला दिया था। इसी गुनाह में शबनम को फांसी की सजा सुनाई गई है। शबनम की दया याचिका को राष्ट्रपति ने भी खारिज कर दिया है। ऐसे में उसका फांसी पर लटकना तय है। महिलाओं को फांसी पर लटकाने की व्यवस्था जिला जेल में है। अभी अदालत ने शबनम को फांसी पर लटकाने की तारीख मुकर्रर नहीं की है, पर जेल प्रशासन ने शबनम को फांसी पर लटकाने की अपनी तैयारी पूरी कर ली है। 12 मार्च 2020 को जेल प्रशासन ने मेरठ के पवन कुमार जल्लाद को बुलाकर फांसीघर का निरीक्षण करा लिया था। जल्लाद ने लकड़ी के साल का वर्गा, लीवर, लकड़ी के तख्त और मनीला सन का फंदा समेत रस्सा की व्यवस्था करने को कहा। जेल अधीक्षक शैलेंद्र मैत्रेय ने बताया, रस्सा एक इंच व्यास का होगा। जो 24 फीट लंबा रहेगा। रस्सा बक्सर से मंगाया जा रहा है। मनीला सन के दोनों रस्सा की कीमत 36 सौ रुपये है। उन्होंने बताया, काेर्ट से शबनम की फांसी की तारीख तय होते ही जेल के फांसीघर में एक ट्रायल कराया जाएगा। शबनम के वजन के बराबर का मिट्टी से भरा बोरा फंदा पर लटका दिया जाएगा।

    ये भी पढ़ेंः

    आजादी के बाद पहली बार किसी महिला को होगी फांसी, परिवार के 7 लोगों की प्रेमी संग की थी हत्या; जानें- पूरा मामला

    आजादी के बाद कोई महिला नहीं लटकी

     वर्ष 1866 में जेल का निर्माण कराया गया था। तभी यह फांसीघर बनाया गया। यह फांसीघर केवल महिला को ही फांसी देने के लिए बना हुआ है। आजादी के बाद से लेकर आज तक इस फांसीघर में किसी महिला को नहीं लटकाया गया है।