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    Bihar News: पटना की महिलाएं इस मामले में निकली सबसे आगे, मुजफ्फरपुर दूसरे स्थान पर

    बिहार राज्य में पिछले कुछ वर्षों में महिला ड्राइविंग लाइसेंस धारकों की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। 2018 से अब तक 1.29 लाख से अधिक महिलाओं ने लाइसेंस प्राप्त किया है, जिसमें पटना जिला सबसे आगे है। यह प्रवृत्ति महिलाओं में बढ़ती आत्मनिर्भरता और आत्मविश्वास को दर्शाती है, क्योंकि वे अब विभिन्न कार्यों के लिए दूसरों पर निर्भर नहीं हैं।  

    By Piyush Pandey Edited By: Piyush Pandey Updated: Sat, 21 Jun 2025 05:15 PM (IST)
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    प्रस्तुति के लिए इस्तेमाल की गई तस्वीर। (जागरण)

    राज्य ब्यूरो, पटना। राज्य की महिलाएं भी अब तेजी से दोपहिया से लेकर चारपहिया वाहन चला रही हैं। पिछले सात-आठ सालों में महिलाओं के हल्के मोटर वाहन ड्राइविंग लाइसेंस (डीएल) की संख्या में बढ़ोतरी दर्ज की गई है।

    वर्ष 2018 से अबतक राज्य में एक लाख 29 हजार से अधिक महिलाओं ने ड्राइविंग लाइसेंस बनवाया है। इनमें सबसे अधिक पटना जिले की 29 हजार 417 महिलाओं ने ड्राइविंग लाइसेंस बनवाया है।

    इसके बाद मुजफ्फरपुर जिले की 18 हजार 560 महिलाओं ने ड्राइविंग लाइसेंस हासिल किया है। विभागीय जानकारी के अनुसार, ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने में पटना प्रमंडल की महिलाएं सबसे आगे हैं, जहां 40 हजार से अधिक महिलाओं के नाम ड्राइविंग लाइसेंस निर्गत किए गए हैं।

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    इसके बाद तिरहुत प्रमंडल में लगभग 33 हजार महिलाएं ड्राइविंग लाइसेंस धारक हैं। ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के मामले में दरभंगा तीसरे, मगध चौथे और मुंगेर प्रमंडल की महिलाएं पांचवें स्थान पर हैं।

    सबसे कम कोसी प्रमंडल में लगभग चार हजार महिलाओं के पास ड्राइविंग लाइसेंस हैं। परिवहन सचिव संदीप आर. पुडकलकट्टी ने कहा कि पहले महिलाएं बच्चों को स्कूल छोड़ने-लाने, आफिस जाने, बाजार से खरीदारी जैसे कामों के लिए दूसरों पर निर्भर रहती थी।

    अब इसमें बदलाव हो रहा है। अब महिलाएं न केवल ड्राइविंग लाइसेंस ले रही हैं बल्कि, आत्मविश्वास के साथ ड्राइविंग सीट पर भी दिख रहीं हैं।