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एक ही आदमी ने बनाया है WhatsApp और Signal ऐप, इस विवाद के चलते छोड़ना पड़ा था WhatsApp का साथ

WhatsApp को चलाने के लिए शुरुआत में पैसे देने पड़ते थे। लेकिन फरवरी 2014 में WhatsApp को Facebook ने करीब 19 बिलियन डॉलर (1.2 लाख करोड़ रुपये) में खरीद लिया। इसके बाद WhatsApp सभी के लिए फ्री हो गया।

By Saurabh VermaEdited By: Published: Thu, 14 Jan 2021 04:00 PM (IST)Updated: Thu, 14 Jan 2021 06:07 PM (IST)
यह WhatsApp और Signal की प्रतीकात्मक फाइल फोटो है।

नई दिल्ली, टेक डेस्क। क्या आप जानते हैं कि WhatsApp और Signal ऐप बनाने वाले एक ही शख्स हैं। जी हां, ये सच है। WhatsApp को साल 2009 में Brian Acton और Jan Kaum ने मिलकर बनाया था। दोनों शख्स Yahoo कंपनी में नौकरी करते थे। लेकिन इन दोनों ने 2009 में Yahoo की नौकरी छोड़कर साल 2009 में WhatsApp बनाया। WhatsApp को चलाने के लिए शुरुआत में पैसे देने पड़ते थे। लेकिन फरवरी 2014 में WhatsApp को Facebook ने करीब 19 बिलियन डॉलर (1.2 लाख करोड़ रुपये) में खरीद लिया। इसके बाद WhatsApp सभी के लिए फ्री हो गया।

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Brian Acton ने क्यों छोड़ा WhatsApp 

WhatsApp के मौद्रीकरण को लेकर विवाद हो गया। Brian Acton के मुताबिक उन्होंने WhatsApp को Facebook को बेचकर एक बड़ी गलती थी। Acton कहते हैं कि Facebook को WhatsApp बेचकर यूजर्स की प्राइवेसी को बेच दिया था। मैं इस गलती के साथ रोजाना जी रहा हूं। हालांकि Acton ने अपनी गलती को सुधारने के लिए नया मैसेजिंग ऐप Signal बनाने का निर्णय लिया। जहां यूजर्स की प्राइवेसी को काफी अहमियत दी जाती है। 

क्या है Signal ऐप 

Signal एक नॉन प्रॉफिट फाउंडेशन चलाता है। इसे Signal फाउंडेशन के नाम से जाना जाता है। Signal कैलिफोर्निया बेस्ड अमेरिकी ऐप है। WhatsApp छोड़ने के बाद Brian Acton को अपने WhatsApp यूजर्स की प्राइवेसी की चिंता सताने लगी। इसके तुरंत बाद Brian Acton ने Moxie Marlinspike के साथ एक नए सिक्योर ऐप बनाने के अपने काम में जुट गए। Signal इन दिनों काफी चर्चा में हैं। इसके को-फाउंडर Brian Acton ओर Moxie Marlinspike हैं। दोनों ने मिलकर साल 2018 में Signal ऐप बनाया था।

Signal ऐप में क्या है खास 

Signal यूजर्स को एंक्रिप्टेड मैसेजिंग ऐप उपलब्ध कराता है। यह एक ओपन सोर्स एप्लीकेशन है, जो प्राइवेसी मामले में WhatsApp से कहीं आगे है। Signal से भेजे जाने वाले ऐप एंक्रिप्टेड होते हैं। मतलब इस प्लेटफॉर्म पर प्राइवेट मैसेज और मीडियो को एक्सेस नहीं किया जा सकेगा। साथ ही इन्हें किसी सर्वर पर स्टोर नहीं किया जा सकेगा। जबकि WhatsApp एंड टू एंड एंक्रिप्शन उपलब्ध कराया जाता है। जिससे प्राइवेट इंफॉर्मेशन जैसे IP एड्रेस, ग्रुप डिटेल और स्टेट्स को एक्सेस किया जा सकता है। WhatsApp से अलग Signal केवल फोन नंबर को एक्सेस करता है। 

 Signal ऐप की है धूम 

भारत समेत दुनियाभर में Signal ऐप की धूम है। Signal ऐप की कुल ग्रोथ 30 फीसदी है। इसमें से 16 फीसदी हिस्सेदारी अकेले भारत से है। WhatsApp की नई प्राइवेसी पॉलिसी आने के बाद Signal App को भारत में काफी पसंद किया जा रहा है। भारत में सिग्नल ऐप के डाउनलोड की बात करें तो 1 जनवरी 2021 से 7 जनवरी 2021 तक डाउनलोड में 79 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है। Sensor Tower की रिपोर्ट के मुताबिक 6 जनवरी 2021 से 10 जनवरी 2021 तक Signal App को पिछले सप्ताह की तुलना में इस हफ्ते दुनिया भर में लगभग 75 लाख बार इंस्टॉल किया गया है, जो कि 4200 प्रतिशत अधिक है। दुनिया के सबसे अमीर व्यक्ति Elon Musk ने अपने एक ट्वीट में Signal ऐप इस्तेमाल की बात कही है। 


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