एंड्रॉइड यूजर्स पर Xhelper का खतरा, हर दिन 131 डिवाइस हो रहीं प्रभावित
इस मालवेयर का नाम Xhelper है। इस मालवेयर से पिछले 6 महीनों में 45 हजार से ज्यादा एंड्रॉइड डिवाइस प्रभावित हुई हैं
नई दिल्ली, टेक डेस्क। एंड्रॉइड यूजर्स को हमेशा से ही वायरस और मालवेयर से प्रभावित ऐप्स की शिकायत रही है। आए दिन हम कोई न कोई ऐसी खबर सुन ही लेते हैं जिसमें एक नए वायरस का पता चलता है। अब एक नई खबर सामने आ रही है जिसमें कुछ एंड्रॉइड यूजर्स ने मालवेयर की शिकायत की है। उनका कहना है कि यह मालवेयर डिलीट करने के बाद भी अपने आप फोन में इंस्टॉल हो जाता है। वहीं, अगर फोन फैक्ट्री रिसेट कर दिया जाए तो भी यह फोन में दोबारा इंस्टॉल हो जाता है। इस मालवेयर का नाम Xhelper है। इस मालवेयर से पिछले 6 महीनों में 45 हजार से ज्यादा एंड्रॉइड डिवाइस प्रभावित हुई हैं।
Symantec की लेटेस्ट रिपोर्ट में बताया गया है कि Xhelper मालवेयर हर रोज करीब 131 और हर महीने करीब 2,400 एंड्रॉयड डिवाइसेज को प्रभावित कर रहा है। इससे प्रभावित सबसे ज्यादा यूजर्स भारत, अमेरिका और रूस में मौजूद हैं। यह मालवेयर थर्ड पार्टी ऐप के जरिए यूजर के फोन में एंट्री करता है। Malwarebytes की एक रिपोर्ट में बताया गया है कि यह वेब रिडायरेक्ट का सोर्स है। यह यूजर्स को उस वेब पेज पर भेजता है जो एंड्रॉइड ऐप होस्ट करते हैं। यहां से यूजर्स को अनआधिकारिक एंड्रॉइड ऐप्स को साइड-लोड कैसे किया जाए इसकी जानकारी मिलती है। इस तरह की ऐप्स में छिपा हुई कोड xHelper ट्रोजन को डाउनलोड करता है।
यूजर्स से बनाता है पैसे: रिपोर्ट्स में कहा गया है कि इससे यूजर्स को ज्यादा नुकसान नहीं पहुंच रहा है। यह पॉपअप विज्ञापन और नोटिफिकेशन स्पैम दिखाता है। इन पर क्लिक कर यूजर प्ले स्टोर पर रिडायरेक्ट हो जाते हैं। यहां पर उनसे ऐप इंस्टॉल करने के लिए कहा जाता है। इससे यह अंदाजा लगाया जा सकता है कि यह मालवेयर 'पे-पर-इंस्टॉल' कमिशन के जरिए पैसे कमा रहा है यानी जितनी ऐप डाउनलोड की जाएंगी उतना मालवेयर गैंग को पैसा मिलेगा।