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    Shivling Puja Niyam: शिवलिंग पर बेलपत्र चढ़ाने से पूरी होती है हर मुराद, यहां जानें सही तरीका

    Updated: Thu, 01 Feb 2024 05:59 PM (IST)

    सनातन धर्म में शिव जी को सबसे प्रभावशाली देवताओं में से एक माना जाता है। शिवलिंग की भगवान शिव के प्रतीक के रूप पूजा की जाती है। कई लोग शिवलिंग का नियमित रूप से जलाभिषेक और पूजा-अर्चना करते हैं। पूजा के दौरान शिव जी पर बेलपत्र भी जरूरी रूप से अर्पित किया जाता है। ऐसे में आइए जानते हैं शिव जी पर बेलपत्र (Belpatra) चढ़ाने के नियम।

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    Shivling Puja Niyam शिव जी पर बेलपत्र चढ़ाने के नियम।

    धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Belpatra ke Niyam: कई भक्त रोजाना शिव जी की पूजा-अर्चना करते हैं। इसके साथ ही सोमवार का दिन भी भगवान भोले शंकर को समर्पित माना जाता है। पूजा के दौरान शिव जी को कई चीजें अर्पित की जाती हैं, जिसमें बेलपत्र भी शामिल है। शिव जी को बेलपत्र प्रिय माना गया है। मान्यताओं के अनुसार, शिवलिंग पर बेलपत्र चढ़ाने से व्यक्ति की सभी मुराद पूरी हो सकती है।

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    इन बातों का रखें ध्यान

    बेलपत्र को बिल्वपत्र भी कहा जाता है। इसे शिव जी पर चढ़ाने से पहले इस चीज का ध्यान रखना चाहिए, कि यह कहीं से कटा-फटा नहीं होना चाहिए। इसके साथ ही शिवलिंग पर बेलपत्र अर्पित करने से पहले इसे अच्छी तरह साफ कर लेना चाहिए।

    इस दिन न तोड़े बेलपत्र

    हिंदू धर्म में बेलपत्र को तोड़ने के लिए भी कुछ नियम बताए गए हैं, जिनके अनुसार सोमवार या चतुर्दशी के दिन बेलपत्र नहीं तोड़ना चाहिए। मान्यताओं के अनुसार इस दिन बेलपत्र तोड़कर चढ़ाने से शिव जी रुष्ट हो सकते हैं। इसके साथ ही बेलपत्र को कभी टहनी के साथ भी नहीं तोड़ना चाहिए।

    इस तरह करें अर्पित

    बेलपत्र को शिव जी को अर्पित करते समय इस बात का ध्यान रखें कि पत्ते की चिकनी वाली सतह शिवलिंग के ऊपर रहे। साथ ही बेलपत्र हमेशा 1, 3 या 5 पत्ते वाला होना चाहिए। हिंदू मान्यताओं के अनुसार, बेलपत्र में जितने अधिक पत्ते होंगे, आपको उतना ही जल्दी उसका शुभ परिणाम भी मिलेगा। बेलपत्र को हमेशा अनामिका, अंगूठे और मध्यमा अंगुली की सहायता से अर्पित करना चाहिए।

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    क्या है मान्यता

    मान्यताओं के अनुसार बेलपत्र कभी भी बासी नहीं होता। ऐसी स्थिति में यदि आपके पास बेलपत्र नहीं है तो आप शिवलिंग पर चढ़े हुए बेलपत्र को लेकर इसे साफ करके पुनः शिवलिंग पर अर्पित कर सकते हैं।

    डिसक्लेमर: 'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'