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    Panchak 2022: साल का आखिरी पंचक आज से शुरू, अगले 5 दिनों तक न करें ये काम

    By Shivani SinghEdited By:
    Updated: Tue, 27 Dec 2022 10:26 AM (IST)

    Panchak 2022 हिंदू धर्म में पंचकों को अशुभ समय माना जाता है। इन पांच दिनों में किसी भी शुभ कार्यों के साथ कुछ चीजों की खरीदारी में मनाही होती है। मंगलवार से शुरू होने वाले अग्नि पंचक के दौरान किन कामों को करने से बचना चाहिए।

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    Panchak 2022: साल का आखिरी पंचक आज से शुरू, अगले 5 दिनों तक न करें ये काम

    नई दिल्ली, Panchak December 2022: हिंदू धर्म में किसी भी मांगलिक या शुभ कार्य को करने के लिए शुभ और अशुभ समय का जरूर ध्यान रखा जाता है। ऐसे ही हर मास के पांच दिन ऐसे होते है जिसमें कई कार्यों को करने की मनाही होती है। इन पांच दिनों को पंचक नाम से जाना जाता है। साल के आखिरी पंचक आ से शुरु हो चुके हैं जो अगले पांच दिनों तक चलेंगे। जानिए पंचक के दौरान किन कार्यों को करने की है मनाही।

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    ज्योतिष गणना के अनुसार, जब चंद्रमा गोचर करके कुंभ या फिर मीन राशि में विराजमान होता है, तो इस समय पंचक माना जाता है। इसके साथ ही चंद्रमा धनिष्ठा, शतभिषा, उत्तराभाद्रपद, पूर्वाभाद्रपद और रेवती नक्षत्र में भ्रमण करता है। तब भी पंचक तिथि की शुरुआत होती है

    कब से कब तक पंचक?

    ज्योतिष गणना के अनुसार, पंचक 27 दिसंबर मंगलवार को सुबह 03 बजकर 31 मिनट से प्रारंभ हो गए है जो 31 दिसंबर 2022, शनिवार को सुबह 11 बजकर 47 मिनट पर समाप्त होंगे। मंगलवार के दिन से आरंभ होने के कारण इन्हें अग्नि पंचक कहा जाएगा।

    अग्नि पंचक के दौरान न करें ये काम

    • शास्त्रों के अनुसार माना जाता है कि पंचक के दौरान दक्षिण दिशा की ओर यात्रा नहीं करना चाहिए। क्योंकि इस दिशा को यम की दिशा माना जाता है। इस दिशा में यात्रा करने से किसी प्रकार की समस्या का सामना करना पड़ सकता है। इसलिए बहुत ही जरूरी है तभी यात्रा करें।
    • पंचक के दौरान घर की छत नहीं बनवानी चाहिए। क्योंकि इससे धन हानि के साथ कई तरह के घाटों का सामना करना पड़ सकता है।
    • पंचक के दौरान लकड़ी न ही खरीदनी चाहिए और न ही इकट्ठा करना चाहिए। इसे अशुभ माना जाता है।
    • पंचक के दौरान चारपाई, पलंग आदि नहीं बनवाना चाहिए। इससे अशुभ फलों की प्राप्ति होती है।
    • गरुण पुराण के अनुसार, पंचक के दौरान अगर किसी व्यक्ति की मृत्यु हो गई है, तो शव का अंतिम संस्कार करते समय किसी पंडित जी से पूछकर आटे या कुश (एक प्रकार की घास) के पांच पुतलों को भी शव के साथ रखकर पूरे विधान के साथ अंतिम संस्कार करना चाहिए। इससे पंचक दोष से छुटकारा मिल जाता है।

    Pic Credit- Freepik

    डिसक्लेमर- इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।

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