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    Kalava Tie Rules: जान लें कलावा बांधने से जुड़ी ये जरूरी बातें, तभी मिलता है इसका लाभ

    Updated: Tue, 30 Apr 2024 10:36 AM (IST)

    हिन्दू मान्यताओं के अनुसार किसी भी पूजा-पाठ या फिर धार्मिक अनुष्ठान में कलावा मुख्य रूप से बांधा जाता है। माना जाता है कि यदि कलाव बांधते समय इसेसे जुड़े जरूरी नियमों का ध्यान रखा जाए तो इससे आपको जीवन में सकारात्मक परिणाम देखने को मिल सकते हैं। वहीं इन नियमों की अनदेखी करने पर कलावा बांधने का लाभ नहीं मिलता।

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    Kalava Tie Rules जान लें कलावा बांधने से जुड़ी ये जरूरी नियम

    धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Kalawa Bandhne ke Niyam: हिंदू परंपराओं के अनुसार, किसी भी धार्मिक कार्य में कलावा जरूरी रूप से बांधा जाता है। यह न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्व रखता है, बल्कि इसका स्वास्थ्य पर भी लाभ माना गया है। मान्यताओं के अनुसार, कलावा हमारी रक्षा करता है इसलिए इसे रक्षासूत्र भी कहा जाता है। ऐसे में आइए जानते हैं इससे जुड़े जरूरी नियम।

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    कलावा कब उतारना चाहिए

    अक्सर देखा जाता है कि लोग कई दिनों तक अपने हाथ में कलावा बांधकर रखते हैं। लेकिन शास्त्रों में इसका भी वर्णन किया गया है कि हाथ में कलावा कितना दिनों तक बांधना शुभ है। माना जाता है कि यदि ज्यादा दिनों तक हाथ में कलावा बांधा जाए, तो यह सकारात्मक ऊर्जा देना बंद कर देता है। इसलिए  21 दिनों तक ही पहनना शुभ माना गया है।

    इस बातों का रखें ध्यान

    उतरे हुए कलावे को कभी दोबारा नहीं बांधना चाहिए। उतारने के बाद इसे किसी बहती नदी में प्रवाहित कर देना शुभ होता है। इसके बाद किसी अच्छे मुहुर्त में हाथ पर दोबारा कलावा बांध सकते हैं। इस बात का भी ध्यान रखें कि कभी भी उतरे हुए रंग का कलावा नहीं पहनना चाहिए, क्योंकि ऐसा कलावा अशुभ माना जाता है।

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    रक्षा सूत्र बांधने के नियम

    पुरुषों और अविवाहित लड़कियों को अपने दाएं हाथ में कलावा बांधना चाहिए। वहीं विवाहित स्त्रियों के लिए बाएं हाथ में कलावा बांधना अधिक शुभ माना गया है। हाथ में कलावा बंधवाते समय उस हाथ की मुट्ठी बांध लेनी चाहिए और अपना दूसरा अपने सिर पर रखना चाहिए। इस बात का विशेष रूप से ध्यान रखें कि इस रक्षा सूत्र को केवल 3 बार ही लपेटना चाहिए।

    कलावा बांधने के मंत्र

    शास्त्रों में कलावा या रक्षा सूत्र बांधने का एक खास मंत्र भी बताया गया है। ऐसे में यदि आप कलावा बांधते या बंधवाते समय इस मंत्र का उच्चारण करते हैं, तो इससे आपको सकारात्मक परिणाम देखने को मिलते हैं। 

    ॐयेन बद्धो बलि राजा, दानवेन्द्रो महाबलः, तेन त्वां मनुबध्नामि, रक्षंमाचल माचल'

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    डिसक्लेमर: 'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'