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    Jitiya Vrat 2024 Daan: जितिया व्रत के दिन इन चीजों का दान बेहद है जरूरी, तभी पूर्ण माना जाएगा व्रत

    Updated: Sun, 15 Sep 2024 02:26 PM (IST)

    जितिया व्रत 3 दिनों तक मनाया जाता है। पहले दिन व्रत रखने वाली महिलाएं नदी में स्नान करती हैं और सात्विक भोजन करके पूजा करती हैं। वहीं दूसरे दिन बिना भोजन और पानी के व्रत रखा जाता है। अंतिम दिन महिलाएं स्नान करती हैं और मुहूर्त का पालन करते हुए अपना उपवास समाप्त करती हैं तो आइए इस दिन से जुड़ी बातों को जानते हैं।

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    Jitiya Vrat 2024 Daan: जितिया व्रत पर करें ये दान।

    धर्म डेस्क, नई दिल्ली। जितिया व्रत एक एक महत्वपूर्ण पर्व माना जाता है। इस दिन विवाहित महिलाएं अपने बच्चों की सलामती के लिए 24 घंटे का निर्जला व्रत रखती हैं। इस दिन लोग भगवान विष्णु, शिव जी और भगवान सूर्य की पूजा करते हैं। ऐसी मान्यता है कि इस व्रत को रखने से जीवन की सभी मनोकामनाओं की पूर्ति होती है। साथ ही संतान से जुड़ी सभी मुश्किलों का अंत होता है। वहीं, इस दिन कुछ विशेष चीजों का दान बेहद शुभ माना जाता है, जिसे करने से जीवन के दुखों का नाश होता है, तो आइए क्या दान (Jitiya Vrat 2024 Daan) करना चाहिए उसके बारे में जानते हैं।

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    जितिया व्रत पर करें ये दान (Jitiya Vrat 2024)

    जितिया व्रत के दिन चावल, फलों, गौ, खिलौने, काले तिल, जौ आदि का दान करना बेहद पुण्यदायी माना जाता है। इस दान से दोगुना पुण्य और फल की प्राप्ति होती है। इसके साथ ही सभी मनोकामनाओं की पूर्ति होती है। अगर आप जितिया व्रत का पूर्ण फल प्राप्त करना चाहते हैं, तो आपको इस दिन कुछ न कुछ अवश्य दान करना चाहिए। साथ ही तामसिक चीजों से दूर रहना चाहिए।

    जितिया व्रत कब है? (Jitiya Vrat 2024 Shubh Muhurat)

    वैदिक पंचांग के अनुसार, आश्विन माह की अष्टमी तिथि 24 सितंबर, 2024 को दोपहर 12 बजकर 38 मिनट पर शुरू होगी। वहीं, इसका समापन 25 सितंबर, 2024 को दोपहर 12 बजकर 10 मिनट पर होगा। पंचांग के आधार पर जितिया व्रत बुधवार, 25 सितंबर को रखा जाएगा।

    जितिया व्रत मंत्र (Jitiya Vrat 2024 Mantra)

    1. वसुदेवसुतं देवं कंसचाणूरमर्दनम् ।

    देवकी परमानन्दं कृष्णं वन्दे जगद्गुरुम् ।।

    2. कर्पूरगौरं करुणावतारं संसारसारं भुजगेन्द्रहारम्।

    सदा बसन्तं हृदयारबिन्दे भबं भवानीसहितं नमामि।।

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    अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।