Griha Pravesh: गृह प्रवेश के वक्त इन बातों का रखें ध्यान, परिवार में बनी रहेगी सुख-समृद्धि
Griha Pravesh परंपरागत रूप से नए घर में जाने के तुरंत बाद गृह प्रवेश समारोह आयोजित किया जाता है। गृह प्रवेश के महत्व को समझते हुए हिंदू धर्म में इसे लेकर कुछ नियम बताए गए हैं। इन नियमों का पालन करने से घर में सकारात्मक ऊर्जा आती है और परिवार के लोगों के जीवन में सुख-समृद्धि बनी रहती है। आइए जानते हैं वह नियम।

नई दिल्ली, अध्यात्म डेस्क। Griha Pravesh: अपने घर में रहने का हर व्यक्ति का सपना होता है। नए घर में कदम रखना लोगों के लिए एक खास मौका होता है क्योंकि यह नई शुरुआत को दर्शाता है। भारतीय परम्परा में गृह प्रवेश का बहुत ही महत्व है। नए घर में सेटल होने से पहले गृह प्रवेश की पूजा करना जरूरी माना गया है। गृह प्रवेश एक हिंदू अनुष्ठान है जिसमें शुभ मुहूर्त पर पूजा समारोह आयोजित किया जाता है।
गृह प्रवेश पूजा क्यों है जरूरी
वास्तु शास्त्र के अनुसार, परिवार की भलाई के लिए नए घर में गृह प्रवेश पूजा जरूर करनी चाहिए। गृह प्रवेश पूजा के कुछ लाभ यहां दिए गए हैं। गृह प्रवेश मुहूर्त पर पूजा करने से बुरी शक्तियां घर से दूर रहती हैं और सकारात्मक ऊर्जा आती है। गृह प्रवेश अनुष्ठान के द्वारा घर का वातावरण पवित्र और आध्यात्मिक बना रहता है। यह घर के निवासियों के लिए समृद्धि, सौभाग्य और अच्छा स्वास्थ्य लाता है। गृह प्रवेश पूजा करने से परिवार पर देवी-देवताओं का आशीर्वाद बना रहता है।
इन नियमों का रखें ध्यान
- हिंदू धर्म में आषाढ़, श्रावण, भाद्रपद, अश्विन और पौष के महीने गृह प्रवेश के लिए अच्छे नहीं माने गए।
- माघ, फाल्गुन, वैशाख, ज्येष्ठ माह को गृह प्रवेश के लिए सबसे सही समय बताया गया है।
-गृह प्रवेश के लिए शुभ मुहूर्त का ध्यान जरूर रखें।
- गृह प्रवेश समारोह के दौरान अपने नए घर में प्रवेश करते समय दाहिने पैर को आगे रखें।
-घर के प्रवेश द्वार पर आम के पत्तों और नींबू से बनी डोरी लगानी चाहिए इससे नकारात्मक ऊर्जा दूर रहती है।
- मंगल कलश के साथ नए घर में प्रवेश करना चाहिए।
- मंगल कलश में शुद्ध जल भरकर उसमें आम या अशोक के आठ पत्तों के बीच नारियल रखें।
- मंगल गीतों के साथ नए घर में प्रवेश करना चाहिए।
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