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    Gatari Amavasya 2022: कब महाराष्ट्र में मनाई जाएगी गटारी अमावस्या, जानिए इसका महत्व

    By Shivani SinghEdited By:
    Updated: Tue, 26 Jul 2022 02:55 PM (IST)

    Gatari Amavasya 2022 गटारी अमावस्या का पर्व महाराष्ट्र में बहुत ही धूमधाम के साथ मनाया जाता है। इस दिन के बाद से ही तमिल कैलेंडर के अनुसार सावन माह शुरू हो जाते हैं। जानिए गटारी अमावस्या का महत्व

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    Gatari Amavasya 2022 in Maharashtra: गटरी अमावस्या के बारे में जाने सबकुछ

    नई दिल्ली, Gatari Amavasya 2022 in Maharashtra: महाराष्ट्र में मराठी कैलेंडर के अनुसार, आषाढ़ के महीने में अमावस्या के दिन गटारी अमावस्या मनाई जाती है। श्रावण मास के दौरान अगले 40 दिनों तक शराब और मांसाहारी भोजन करना छोड़ देते हैं। ऐसे में पारंपरिक मराठी महीने में अमावस आखिरी दिन होता है जिस दिन अधिकांश लोग मांस-मदिरा खाते हैं। इस बार गटारी अमावस्या 28 जुलाई 2022 को मनाई जाएगी। इसके साथ ही महाराष्ट्र में सावन माह की शुरुआत हो जाती है। बता दें कि महाराष्ट्र में सावन उत्तर भारत के 15 दिनो के बाद से शुरू होता है। महाराष्ट्र 29 जुलाई 2022 से भगवान शिव की पूजा का महीना सावन शुरू हो जाएगा। भक्तों को पवित्र सावन अनुष्ठानों और रीति-रिवाजों का पालन करें। श्रावण के दौरान मांस-मदिरा का त्याग कर सात्विक भोजन करते हैं। वहीं उत्तर भारत में इसे हरियाली अमावस्या के नाम से जानते हैं।

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    गटारी अमावस्या के बाद सावन शुरू हो जाते हैं। इसके बाद लोग मांसाहारी भोजन, मादक पेय और तामसिक खाद्य पदार्थ जैसे प्याज और लहसुन से परहेज करते हैं। इसलिए लोग मास की शुरुआत से पहले मांसाहारी भोजन और पेय का सेवन करके श्रावण की सभी प्रथागत प्रथाओं को रखने की तैयारी करते हैं। इस दिन को महाराष्ट्र में गटारी के रूप में मनाया जाता है जो सावन से पहले पड़ने वाली अमावस्या को पड़ता है।

    अमावस्या तिथि कब से कब तक

    कृष्ण पक्ष अमावस्या तिथि प्रारंभ- 27 जुलाई रात 09 बजकर 12 मिनट से शुरू

    कृष्ण पक्ष अमावस्या समाप्त- 28 जुलाई रात 11 बजकर 24 मिनट तक

    गटारी अमावस्या 2022 का महत्व

    हिंदू चंद्र कैलेंडर तीस चंद्र चरणों का उपयोग करता है, जिसे हिंदू धर्म में तिथि कहा जाता है। सावन के स्वागत के लिए मराठी लोग गटारी पर्व को बड़े उत्साह के साथ मनाते हैं। अमावस्या एक पारंपरिक मराठी महीने में अंतिम दिन है और मास पर चिह्नित चांदनी रात को गटारी अमावस्या के रूप में जाना जाता है। गटारी के दिन लोग रात में अपने करीबी दोस्तों और प्रियजनों के साथ स्वादिष्ट मांसाहारी भोजन और पेय का आनंद लेते हैं।

    गटारी अमावस्या मनाने के पीछे का कारण

    गटारी अमावस्या मनाने के पीछे का कारण देखा जाए, तो श्रावण के महीने में बीमारियों का खतरा अधिक होता है। क्योंकि यह मास मानसून के मौसम में होता है। इसलिए इस मास में लोग हल्का खाना खाना पसंद करते हैं। गटारी त्योहार के दिन परिवार एक-दूसरे के घरों में दावत का आनंद लेने के लिए जाते हैं और अगले दिन तड़के तक पीते हैं। सावन शुरू होते ही भक्त भगवान शिव की विधिवत पूजा अर्चना शुरू कर देते हैं।

    Pic Credit- Freepik

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