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    Shiv Stotra: सोमवार के दिन पूजा के समय कर लें इस स्तोत्र का पाठ, अन्न-धन से भर जाएंगे भंडार

    By Pravin KumarEdited By: Pravin Kumar
    Updated: Sun, 11 May 2025 05:39 PM (IST)

    सोमवार का दिन भगवान शिव को प्रिय है। इस दिन भगवान शिव और जगत की देवी मां पार्वती की पूजा की जाती है। साथ ही उनके निमित्त व्रत रखा जाता है। इस व्रत की महिमा शास्त्रों में की गई है। इस व्रत के पुण्य-प्रताप से साधक के जीवन में खुशियों का आगमन होता है।

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    Shiv Stotra: भगवान शिव को कैसे प्रसन्न करें?

    धर्म डेस्क, नई दिल्ली। वैदिक पंचांग के अनुसार, सोमवार 12 मई को वैशाख पूर्णिमा है। इस शुभ अवसर पर बुद्ध पूर्णिमा मनाई जा रही है। सोमवार के दिन देवों के देव महादेव की पूजा की जाती है। साथ ही सोमवार का व्रत रखा जाता है। भगवान शिव की पूजा करने से साधक की हर मनोकामना पूरी होती है। साथ ही सुख और सौभाग्य में वृद्धि होती है।

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    सनातन शास्त्रों में निहित है कि देवों के देव महादेव की पूजा करने से जीवन में सभी प्रकार के सुखों की प्राप्ति होती है। इसके लिए सोमवार के दिन भक्ति भाव से महादेव की पूजा की जाती है। अगर आप भी अपने जीवन में व्याप्त संकटों से निजात पाना चाहते हैं, तो सोमवार के दिन पूजा के समय दरिद्र दहन स्तोत्र (Daridra Dahan Shiv Stotram) का पाठ करें।

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    दारिद्र्य दहन शिव स्तोत्र

    विश्वेश्वराय नरकार्णवतारणाय कर्णामृताय शशिशेखरधारणाय ।

    कर्पूरकान्तिधवलाय जटाधराय दारिद्‌र्यदुःखदहनाय नमः शिवाय ॥

    गौरीप्रियाय रजनीशकलाधराय कालान्तकाय भुजगाधिपकङ्कणाय ।

    गङ्गाधराय गजराजविमर्दनाय दारिद्‌र्यदुःखदहनाय नमः शिवाय ॥

    भक्तप्रियाय भवरोगभयापहाय उग्राय दुर्गभवसागरतारणाय ।

    ज्योतिर्मयाय गुणनामसुकृत्यकाय दारिद्‌र्यदुःखदहनाय नमः शिवाय ॥

    चर्मांबराय शवभस्मविलेपनाय भालेक्षणाय मणिकुण्डलमण्डिताय ।

    मंजीरपादयुगलाय जटाधराय दारिद्‌र्यदुःखदहनाय नमः शिवाय ॥

    पञ्चाननाय फणिराजविभूषणाय हेमांशुकाय भुवनत्रय मण्डिताय ।

    आनन्दभूमिवरदाय तमोमयाय दारिद्‌र्यदुःखदहनाय नमः शिवाय ॥

    गौरीविलासभवनाय महेश्वराय पञ्चाननाय शरणागतकल्पकाय ।

    शर्वाय सर्वजगतामधिपाय तस्मै दारिद्‌र्यदुःखदहनाय नमः शिवाय ॥

    भानुप्रियाय भवसागरतारणाय कालान्तकाय कमलासनपूजिताय ।

    नेत्रत्रयाय शुभलक्षणलक्षिताय दारिद्‌र्यदुःखदहनाय नमः शिवाय ॥

    रामप्रियाय राघुनाथवरप्रदाय नागप्रियाय नरकार्णवतारणाय ।

    पुण्येषु पुण्यभरिताय सुरार्चिताय दारिद्‌र्यदुःखदहनाय नमः शिवाय ॥

    मुक्तेश्वराय फलदाय गणेश्वराय गीतप्रियाय वृषभेश्वरवाहनाय ।

    मातङ्गचर्मवसनाय महेश्वराय दारिद्‌र्यदुःखदहनाय नमः शिवाय ॥

    वसिष्ठेनकृतं स्तोत्रं सर्व दारिद्‌र्यनाशनम् ।

    सर्वसंपत्करं शीघ्रं पुत्रपौत्रादिवर्धनम् ॥

    दारिद्र्य दहन शिव स्तोत्र के लाभ

    भगवान शिव की पूजा करने के समय दारिद्र्य दहन शिव स्तोत्र का पाठ करने से गरीबी और दरिद्रता दूर होती है। साथ ही साथ ही साधक को जीवन में व्याप्त सभी प्रकार के संकटों से मुक्ति मिलती है। साधक श्रद्धा भाव से सोमवार के दिन भगवान शिव की पूजा करते हैं। धन की समस्या से छुटकारा पाने के लिए सोमवार के दिन शिव जी का अभिषेक के समय दारिद्र्य दहन शिव स्तोत्र (Daridra Dahan Shiv Stotram) का पाठ करें।

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    अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।