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    Aaj ka Panchang 27 November 2024: आज किया जाएगा उत्पन्ना एकादशी व्रत का पारण, पंचांग से जानें शुभ मुहूर्त

    आज यानी 27 नवंबर को उत्पन्ना एकादशी व्रत का पारण किया जाएगा। मान्यता है कि उत्पन्ना एकादशी व्रत करने से जातक के सभी पाप खत्म होते हैं। साथ ही विधिपूर्वक विष्णु जी की पूजा करने से सुख-समृद्धि में वृद्धि होती है। आज कई शुभ योग (Today Shubh Yog) भी बन रहे हैं तो चलिए पंचांग (Aaj ka Panchang 2024) से जानते हैं आज का शुभ मुहूर्त और राहुकाल का समय।

    By Jagran News Edited By: Kaushik Sharma Updated: Wed, 27 Nov 2024 09:19 AM (IST)
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    Aaj ka Panchang 27 November 2024 पंचांग से जानें शुभ मुहूर्त।

    धर्म डेस्क, नई दिल्ली। मार्गशीर्ष माह के कृष्ण पक्ष की द्वादशी तिथि आज यानी 27 नवंबर को है। इस तिथि पर उत्पन्ना एकादशी व्रत का पारण किया जाएगा। मान्यता है कि एकादशी व्रत का पारण करने से जातक को शुभ फल की प्राप्ति होती है और जगत के पालनहार भगवान विष्णु प्रसन्न होते हैं। इस तिथि पर कई शुभ योग का निर्माण हो रहा है। ऐसे में चलिए पंडित हर्षित शर्मा जी से जानते हैं आज का पंचांग और शुभ मुहूर्त (Today Puja Time) के विषय में।

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    उत्पन्ना एकादशी 2024 व्रत पारण समय (Utpanna Ekadashi 2024 Vrat Paran Time)

    उत्पन्ना एकादशी का पारण 27 नवंबर को दोपहर 01 बजकर 12 मिनट से लेकर 03 बजकर 18 मिनट के बीच कर सकते हैं।

    आज का पंचांग (Aaj ka Panchang 27 November 2024)

    सूर्योदय और सूर्यास्त का समय

    सूर्योदय - सुबह 06 बजकर 54 मिनट पर

    सूर्यास्त - शाम 05 बजकर 24 मिनट पर

    चंद्रोदय- सुबह 04 बजकर 06 मिनट पर

    चंद्रास्त- दोपहर 02 बजकर 53 मिनट पर

    यह भी पढ़ें: Utpanna Ekadashi 2024: इस मुहूर्त में करें उत्पन्ना एकादशी व्रत का पारण, इन चीजों के दान से पुण्य की होगी प्राप्ति

    वार - बुधवार

    ऋतु - हेमंत

    शुभ समय (Today Shubh Muhurat)

    ब्रह्म मुहूर्त - सुबह 05 बजकर 06 मिनट से 06 बजे तक

    विजय मुहूर्त - दोपहर 01 बजकर 54 मिनट से 02 बजकर 36 मिनट तक

    गोधूलि मुहूर्त - शाम 05 बजकर 21 मिनट से 05 बजकर 49 मिनट तक

    अशुभ समय

    राहुकाल - दोपहर 12 बजकर 09 मिनट से 01 बजकर 28 मिनट तक।

    गुलिक काल - सुबह 10 बजकर 50 मिनट से 12 बजकर 09 मिनट तक।

    दिशा शूल - उत्तर

    नक्षत्र के लिए उत्तम ताराबल - भरणी, रोहिणी, मृगशिरा, आर्द्रा, पुनर्वसु, आश्लेषा, पूर्वा फाल्गुनी, हस्त, चित्रा, स्वाति, विशाखा, ज्येष्ठा, पूर्वाषाढ़ा, श्रवण, धनिष्ठा, शतभिषा, पूर्वाभाद्रपद, रेवती

    राशि के लिए उत्तम चन्द्रबलम - मेष, कर्क, कन्या, वृश्चिक, धनु, मीन

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    अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।