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    Durga Puja 2023: नवरात्र के पांचवें दिन दुर्लभ 'शोभन' योग का हो रहा है निर्माण, प्राप्त होगा मां का आशीर्वाद

    By Pravin KumarEdited By: Pravin Kumar
    Updated: Wed, 18 Oct 2023 03:47 PM (IST)

    धार्मिक मत है कि स्कंदमाता की पूजा करने से महादेव भी प्रसन्न होते हैं। उनकी कृपा साधक पर बरसती है। साथ ही मां की कृपा से साधक के जीवन में व्याप्त सभी दुख और संकट दूर हो जाते हैं। अतः साधक विधि-विधान से स्कंदमाता की पूजा करते हैं। ज्योतिषियों की मानें तो शारदीय नवरात्रि के पांचवें दिन दुर्लभ शोभन योग समेत कई अद्भुत संयोग बन रहे हैं।

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    Durga Puja 2023 Day 5: नवरात्र के पांचवें दिन दुर्लभ 'शोभन' योग का हो रहा है निर्माण

    धर्म डेस्क, नई दिल्ली | Shardiya Navratri 2023 Day 5: शारदीय नवरात्र के पांचवें दिन जगत जननी आदिशक्ति मां दुर्गा के पंचम स्वरूप स्कंदमाता की पूजा-अर्चना की जाती है। साथ ही उनके निमित्त व्रत उपवास रखा जाता है। सनातन शास्त्रों में देवताओं के सेनापति भगवान कार्तिकेय को स्कंद कहा गया है। अतः जगत जननी आदिशक्ति मां पार्वती को स्कंदमाता भी कहा जाता है। धार्मिक मत है कि स्कंदमाता की पूजा करने से महादेव भी प्रसन्न होते हैं। उनकी कृपा साधक पर बरसती है। साथ ही मां की कृपा से साधक के जीवन में व्याप्त सभी दुख और संकट दूर हो जाते हैं। अतः साधक विधि-विधान से स्कंदमाता की पूजा करते हैं। ज्योतिषियों की मानें तो शारदीय नवरात्र के पांचवें दिन दुर्लभ शोभन योग समेत कई अद्भुत संयोग बन रहे हैं। इन योग में मां की साधना करने से साधक को अक्षय फल की प्राप्ति होती है। आइए, शुभ मुहूर्त, योग और पूजा का समय जानते हैं-

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    शुभ मुहूर्त

    शारदीय नवरात्र की पंचमी तिथि 20 अक्टूबर को देर रात 12 बजकर 31 मिनट तक है। इसके पश्चात, षष्ठी तिथि शुरू हो जाएगी। इस दिन सौभाग्य और शोभन समेत कई शुभ योग बन रहे हैं। इन योग में स्कंदमाता की पूजा करने से साधक को अक्षय फल की प्राप्ति होती है।

    शोभन योग

    नवरात्र के पांचवें दिन शोभन योग का निर्माण हो रहा है। इस योग का निर्माण 19 अक्टूबर को सुबह 06 बजकर 54 मिनट से हो रहा है, जो दिन भर है। इस योग का समापन 20 अक्टूबर को सुबह 05 बजकर 09 मिनट पर होगा। इस योग में मां की पूजा-अर्चना करने से सुख, सौभाग्य और आय में वृद्धि होती है।

    रवि योग

    शारदीय नवरात्र की पंचमी तिथि पर रवि योग का भी निर्माण हो रहा है। इस योग का निर्माण संध्याकाल 09 बजकर 04 मिनट से अगले दिन यानी 20 अक्टूबर को सुबह 06 बजकर 25 मिनट तक है। इस योग में शुभ कार्य कर सकते हैं।

    यह भी पढ़ें- नवरात्रि के पांचवें दिन करें इस चमत्कारी स्तोत्र का पाठ, दूर हो जाएंगे सभी दुख और संताप

    करण

    शारदीय नवरात्र की पंचमी तिथि पर दोपहर 12 बजकर 59 मिनट तक बव करण का निर्माण हो रहा है। इसके बाद बालव करण का निर्माण हो रहा है। ज्योतिष बव और बालव करण को शुभ मानते हैं। इस योग में मां की पूजा करने से अक्षय फल की प्राप्ति होती है।

    सूर्योदय और सूर्यास्त का समय

    सूर्योदय - सुबह 06 बजकर 24 मिनट पर

    सूर्यास्त - शाम 17 बजकर 48 मिनट पर

    चन्द्रोदय- सुबह 10 बजकर 45 मिनट पर

    चन्द्रास्त- सुबह 08 बजकर 56 मिनट पर

    पंचांग

    ब्रह्म मुहूर्त - 04 बजकर 43 मिनट से 05 बजकर 34 मिनट तक

    अभिजित मुहूर्त- 11 बजकर 43 मिनट से दोपहर 12 बजकर 29 मिनट तक

    विजय मुहूर्त - दोपहर 02 बजे से 02 बजकर 46 मिनट तक

    गोधूलि मुहूर्त - शाम 05 बजकर 48 मिनट से 06 बजकर 15 मिनट तक

    निशिता मुहूर्त - रात्रि 11 बजकर 41 मिनट से 12 बजकर 31 मिनट तक

    अशुभ समय

    राहु काल - दोपहर 01 बजकर 31 मिनट से 02 बजकर 57 मिनट तक

    गुलिक काल - सुबह 09 बजकर 15 मिनट से 10 बजकर 40 मिनट तक

    दिशा शूल - दक्षिण

    डिसक्लेमर: इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।